नई दिल्ली। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू पर टीएमसी नेता अखिल गिरी द्वारा किए गए अपमानजनक टिप्पणी को लेकर बीजेपी तृणमूल कांग्रेस पर हमलावर है। टीएमसी प्रमुख ममता बनर्जी से माफी की मांग की जा रही थी। अखिल गिरी को पार्टी से बर्खास्त करने की मांग की जा रही थी। वहीं, अखिल गिरी द्वारा राष्ट्रपति पर किए गए अपमानजनक टिप्पणी के बाद बीजेपी ने कहा कि टीएमसी एक आदिवासी विरोधी पार्टी है। वहीं, चौतरफा आलोचनाओं को झेलने के बाद ममता बनर्जी बैकफुट पर आ चुकी हैं। उन्होंने अपने नेता के बयान पर कहा कि मैं शर्मिंदा हूं। मैं अखिल गिरी द्वारा राष्ट्रपति पर की गई टिप्पणी को लेकर माफी मांगती हूं। वहीं, उन्होंने आगे कहा कि अखिल गिरी के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।
बता दें कि बीजेपी अखिल गिरी को बर्खास्त किए जाने की मांग कर रही है। अब ऐसे में जिस तरह से ममता बनर्जी ने संकेत दिए हैं कि अखिल गिरी के खिलाफ कार्रवाई होगी। ऐसे में माना जा रहा है कि उन्हें बाहर का रास्ता दिखाया जा सकता है। ममता दीदी ने आगे कहा कि हमें कोई भी बयान देने से पूर्व सोचना चाहिए। तभी बोलना चाहिए। हिंदी भाषा में कई ऐसे शब्द हैं, जिसके अलग-अलग मतलब हैं, कई बार मुझे भी कई शब्दों की जानकारी नहीं होती है, तो मैं उनका शब्दकोश में अर्थ ढूंढती हूं, तभी जाकर इस्तेमाल करती हूं, ताकि अर्थ का कोई अनर्थ ना हो।
अखिल गिरी ने क्या कहा था?
दरअसल, अखिल गिरी ने नंदीग्राम में जनसभा को संबोधित करने के क्रम में बीजेपी पर निशाना साधा था। उन्होंने कहा था कि सुवेंदु अधिकारी कहते हैं कि मेरी शक्ल अच्छी नहीं है, तो मैं साफ कर देना चाहता हूं कि मेरे उनकी ( बीजेपी) शक्ल कौन-सी अच्छी है। अखिल गिरी ने आगे कहा कि हम सभी जानते हैं कि राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू कैसीं हैं। बता दें कि अखिल गिरी के इस बयान को लेकर बवाल मचा हुआ है। बीजेपी अखिल गिरी के खिलाफ कार्रवाई करने की मांग की जा रही है, ताकि इस तरह के बयानों को देने से गुरेज किया जाए।
आदिवासियों में भी रोष
बता दें कि अखिल गिरी के उपरोक्त बयान के बाद ना महज बीजेपी, बल्कि आदिवासी समुदाय भी सड़क पर उतर आए हैं। आदिवासी समुदाय की तरफ से गिरी के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग की जा रही है, ताकि वो भविष्य में फिर कोई अभ्रद टिप्पणी करने की जुर्रत ना कर सकें। आदिवासी समुदाय ने यह भी कहा कि टीएमसी की आदिवासी विरोधी मानसिकता है।
आदिवासी समुदाय का कहना है कि टीएमसी इस बात को हजम नहीं कर पा रही है कि कैसे एक आदिवासी की बेटी राष्ट्रपति की कुर्सी पर विराजान हो गईं। बहरहाल, अब जिस तरह से इस पूरे मामले को लेकर ममता दीदी ने माफी मांगी है। ऐसी स्थिति में यह पूरा माजरा आगामी दिनों में क्या रुख अख्तियार करता है। इस पर सभी की निगाहें टिकी रहेंगी।