नई दिल्ली। कोरोना संकट को देखते हुए अब उत्तर प्रदेश के विधानसभा सत्र में शामिल होने के लिए विधायकों का कोरोना टेस्ट जरूरी होगा। इसके लिए गाइडलाइन जारी कर दी गई है। बता दें कि विधानमंडल का मानसून सत्र 20 अगस्त से शुरू हो रहा है। इस बीच कोरोना के खतरे को लेकर एहतियात बरती जा रही है। ऐसे में इस बार विधानसभा व विधान परिषद सदस्यों के लिए कोरोना टेस्ट की सुविधा उपलब्ध होगी।
कोरोना संकट के चलते सत्र की बैठकें केवल तीन दिन होंगी। संक्रमण रोकने के लिए विधानसभा सचिवालय कोविड-19 के पूरे प्रोटोकाल का पालन कराया जाएगा। इसीलिए सत्र के दौरान भीड़ रोकने के लिए गैलरी पास निरस्त कर दिए गए हैं।
पूर्व विधायकों व पूर्व सांसदों के आने पर रोक लगाई गई है। दर्शक दीर्घा के पास भी नहीं बनेंगे। जो सदस्य पाजिटिव होंगे, उन्हें अस्पताल भेजा जाएगा या होम आईसोलेशन में रखा जाएगा। इसके अलावा सत्र में भाग लेने के लिए आने वाले सदस्यों के लिए गर्म पानी व काढ़े का इंतजाम रहेगा ताकि प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाई जा सके। सत्र के दौरान कैंटीनें बंद रहेंगी।
गौरतलब है कि योगी सरकार के दो मंत्रियों की 15 दिन के भीतर कोरोना के चलते मौत हो गई। रविवार को क्रिकेटर से राजनेता बने उत्तर प्रदेश के होम गार्ड मंत्री चेतन चौहान का हृदय गति रुकने के कारण रविवार को निधन हो गया।। 73 साल के चेतन चौहान ने गुरुग्राम के मेदांता अस्पताल में शाम 4.30 बजे अंतिम सांस ली। वे कोरोना वायरस से संक्रमित थे। चेतन चौहान के निधन पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने ट्वीट कर दुख जताया है।
इससे पहले यूपी सरकार की कैबिनेट मंत्री कमल रानी का भी निधन हो गया था। कमल रानी वरुण का 2 अगस्त को निधन हुआ था और अभी 15 दिन भी नहीं गुजरे कि एक और कैबिनेट मंत्री चेतन चौहान की भी कोरोना के कारण मौत हो गई।