
नई दिल्ली। समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने आज अपने तीन विधायकों को पार्टी से निष्कासित कर दिया है। जिन विधायकों पर गाज गिरी है उनमें गौरीगंज विधायक राकेश प्रताप सिंह, गोसाईंगंज विधायक अभय सिंह और ऊंचाहार विधायक मनोज कुमार पाण्डेय शामिल हैं। इस एक्शन के बाद विधायक राकेश प्रताप सिंह की प्रतिक्रिया सामने आई है। उन्होंने अखिलेश यादव पर निशाना साधते हुए कहा कि मैं इस फैसले का स्वागत करता हूं। जो बातें मैं पहले बागी के तौर पर कहता था, अब आजादी के बाद मैं बागी कहलाए बिना कहूंगा। उन्होंने कहा कि मैं पीडीए का विरोधी नहीं हूं बल्कि एक परिवार की विचारधारा का विरोधी हूं।
Lucknow, Uttar Pradesh: On getting expelled from Samajwadi Party, SP MLA (Expelled) Rakesh Pratap Singh says, “I welcome this decision, and now, after independence, the things I used to say earlier as a rebel, I will now say them without being called a rebel, and no one will dare… pic.twitter.com/vONch3EXSv
— IANS (@ians_india) June 23, 2025
अनुग्रह अवधि को लेकर राकेश सिंह बोले, इसकी जरूरत समाजवादी पार्टी और उसके राष्ट्रीय अध्यक्ष को है। विधायकी छोड़ने के सवाल पर उन्होंने कहा मैं बहुत पहले ही इस्तीफा देना चाहता था, लेकिन मेरे कार्यकर्ताओं ने मुझे ऐसा करने से रोका, अब मैं गौरीगंज की जनता के साथ बैठूंगा और उसके बाद आगे की रणनीति तय करूंगा। दरअसल इन तीन निष्कासित विधायकों समेत सपा के सात एमएलए ने राज्यसभा चुनाव में पार्टी लाइन के खिलाफ जाकर वोटिंग की थी जिस वजह से बीजेपी के आठवें कैंडिडेट संजय सेठ की जीत हो गई थी। इसी बात को लेकर इन पर कार्रवाई की गई है।

सपा की ओर से विधायकों के निष्कासन पर कहा गया है कि साम्प्रदायिक विभाजनकारी नकारात्मकता व किसान, महिला, युवा, कारोबारी, नौकरीपेशा और पीडीए विरोधी विचारधारा का साथ देने के कारण, जनहित में इन विधायकों पर कार्रवाई की गई है। इन लोगों को हृदय परिवर्तन के लिए दी गयी अनुग्रह-अवधि की समय-सीमा अब पूर्ण हुई, शेष की समय-सीमा अच्छे व्यवहार के कारण शेष है। भविष्य में भी जन-विरोधी लोगों के लिए पार्टी में कोई स्थान नहीं होगा और पार्टी के मूल विचार की विरोधी गतिविधियाँ सदैव अक्षम्य मानी जाएंगी। अंत में पार्टी की ओर से कहा गया, जहाँ रहें, विश्वसनीय रहें।