नई दिल्ली। कांग्रेस के नए अध्यक्ष के लिए अक्टूबर में चुनाव होने वाला है। इस पद के लिए 17 अक्टूबर को वोट डाले जाएंगे। 19 अक्टूबर को नतीजों का एलान होगा। कांग्रेस के तमाम नेता राहुल गांधी को ही दोबारा अध्यक्ष बनाने के लिए दबाव डाल रहे हैं। इस बीच, कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और सांसद मनीष तिवारी ने पार्टी अध्यक्ष पद के चुनाव की प्रक्रिया पर सवाल खड़े कर दिए हैं। उन्होंने एक ट्वीट कर वोटिंग करने वाले प्रतिनिधियों की लिस्ट सार्वजनिक करने की मांग उठा दी है। बता दें कि इससे पहले एक और सीनियर नेता और पूर्व केंद्रीय मंत्री आनंद शर्मा भी सीडब्ल्यूसी की बैठक में वोटर लिस्ट पर सवाल खड़े कर चुके हैं।
1/1 With great respect @MD_Mistry ji How can there be a fair & free election without a publicly available electoral roll ? Essence of a fair & free process is names & addresses of electors must be published on @INCIndia website in a transparent manner. https://t.co/7lRqSwqseV
— Manish Tewari (@ManishTewari) August 31, 2022
कांग्रेस में बदलाव की चाह रखने वाले 23 नेताओं के गुट में मनीष तिवारी भी थे। उन्होंने संगठन के चुनाव प्रभारी मधुसूदन मिस्त्री से ट्वीट के जरिए पूछा है कि वोटर लिस्ट सार्वजनिक किए बगैर निष्पक्ष तौर पर कांग्रेस अध्यक्ष का चुनाव किस तरह होगा? मनीष ने कहा है कि किसी क्लब के चुनाव में भी ऐसा नहीं होता। मनीष के इस तेवर से कांग्रेस अध्यक्ष चुनाव से पहले कांग्रेस में फिर नया बखेड़ा खड़ा होने के आसार दिखने लगे हैं। दरअसल, कांग्रेस अध्यक्ष पद के लिए करीब 9000 प्रतिनिधि वोटिंग करेंगे। चुनाव प्रभारी मधुसूदन मिस्त्री ने मीडिया को बताया है कि वोटर लिस्ट प्रदेश कांग्रेस दफ्तरों में है और उनको चुनाव लड़ने वाले उम्मीदवारों की लिस्ट सौंपी जाएगी। मनीष तिवारी ने इसी पर सवाल दागा है कि क्या अध्यक्ष का चुनाव लड़ने के लिए राज्यों में उम्मीदवारों को भटकना होगा?
तिवारी ने ये आशंका भी जताई है कि अध्यक्ष पद के किसी भी उम्मीदवार का परचा ये कहकर रद्द किया जा सकता है कि उसका प्रस्तावक वोटर है ही नहीं। कांग्रेस के संविधान के मुताबिक कोई अगर अध्यक्ष पद का प्रत्याशी बनना चाहे, तो उसे 10 प्रस्तावक चाहिए होते हैं। इससे पहले शशि थरूर ने कल संकेत दिए थे कि वो चुनाव लड़ सकते हैं। वहीं, जी-23 के तीन नेताओं पृथ्वीराज चव्हाण, भूपेंद्र सिंह हुड्डा और आनंद शर्मा ने कांग्रेस को हाल ही में अलविदा कहने वाले गुलाम नबी आजाद से मुलाकात कर लंबी बातचीत भी की थी।