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अप्रैल से शुरू होगा मोदी सरकार का मिशन एनपीआर, देश के बड़े घटनाक्रमों से जोड़कर आयु बताने का होगा विकल्प

अब सरकार इसी प्रोजेक्ट में इस्तेमाल किये गए सवालों की फ़ेहरिस्त पर अपनी मुहर लगाने जा रही है। दरअसल NPR के तहत देश भर के 74 जिलों में पायलट प्रोजेक्ट के तौर पर लोगों से जानकारियां मांगी गई।

नई दिल्ली। नए साल की शुरुआत के साथ ही मोदी सरकार ने एनपीआर मिशन पर तेजी से काम शुरू कर दिया है। पूरे देश में एक अभियान के तहत इससे संबंधित जानकारी इक्ट्ठा की जाएगी। अहम बात यह है कि सरकार को इस सिलसिले में मिला फीडबैक हौसला बढ़ाने वाला है। पायलट प्रोजेक्ट की प्रक्रिया के दौरान कहीं से भी एनपीआर के खिलाफ कोई प्रतिक्रिया सामने नहीं आई है।

modi government

नए एनपीआर के तहत देश भर में अप्रैल से सितंबर के बीच जानकारी इकट्ठा की जाएगी। इस मकसद के लिए और सम्बंधित अधिकारी लोगों के घर घर जाएंगे। केंद्र सरकार के लिए सबसे अधिक उत्साहित करने वाली बात एनपीआर से जुड़े पायलट प्रोजेक्ट के नतीजे हैं। सरकार NPR के पायलट प्रोजेक्ट के नतीजे से बेहद उत्साहित है।

Population

अब सरकार इसी प्रोजेक्ट में इस्तेमाल किये गए सवालों की फ़ेहरिस्त पर अपनी मुहर लगाने जा रही है। दरअसल NPR के तहत देश भर के 74 जिलों में पायलट प्रोजेक्ट के तौर पर लोगों से जानकारियां मांगी गई। सरकार के मुताबिक इस प्रक्रिया में तीस लाख लोगों ने हिस्सा लिया अहम बात यह भी है कि उन्हें किसी भी तरह की समस्या नहीं आई।

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मौजूदा स्वरूप में NPR के तहत लोगों के नाम ,पते, जन्मतिथि, जन्मस्थान , माता -पिता के नाम, उनके जन्मस्थान और जन्मतिथि मांगे जाएंगे। अगर माता-पिता से जुड़ी जानकारियां उपलब्ध न हों तो देश के बड़े घटनाक्रमों से जोड़कर ये बताना होगा कि उनकी उम्र क्या हो सकती है। मसलन आजादी, भारत-चीन युद्ध, भारत-पाक युद्ध वगैरह वगैरह।