4 साल में नोएडा में 71 हजार फ्लैट्स पर मिला लोगों को कब्जा, CM योगी का सख्त आदेश- मानकों से न हो खिलवाड़

Noida: आम्रपाली समूह की 09 परियोजनाओं में कुल 14,715 फ्लैट्स स्वीकृत है जबकि यूनिटेक समूह की 05 परियोजनाओं में 4,681 फ्लैट्स स्वीकृत है। इसके अलावा, जिन 07 परियोजनाओं के अधिभोग हेतु आवेदन प्राप्त नहीं हुए है उनमें 7,480 फ्लैट्स स्वीकृत है ।

Avatar Written by: September 2, 2021 8:20 pm
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नोएडा। जिंदगी भर की पूंजी जुटाकर “सपनों का जहान” अपना घर खरीदने वालों का सपना समय से पूरा हो, इस दिशा में हो रही कोशिशें रंग ला रहीं हैं। खरीदारों के हितों को हर हाल में संरक्षित करने के सीएम योगी आदित्यनाथ के निर्देशों के अनुसार न केवल बिल्डर प्रोजेक्ट समय पर पूरा करने के लिए प्रयासरत हैं, वहीं खरीदारों को मानक के अनुरुप फ्लैट भी मिल रहा है। नोएडा क्षेत्र की स्थिति देखें तो पता चलता है कि नोएडा प्राधिकरण द्वारा वर्ष 2017 से वर्तमान तक कुल 41,884 यूनिट्स के अधिभोग प्रमाण पत्र निर्गत किये गये हैं एवं इस अवधि में कुल 18,903 फ्लैटों के उप पट्टा प्रलेख का निष्पादन होम बायर्स के पक्ष में किया जा चुका है। सरकारी प्रवक्ता ने बताया कि नोएडा में ग्रुप हाउसिंग की कुल 116 परियोजनाओं में से 45 परियोजनायें पूर्ण की जा चुकी हैं, जबकि 44 परियोजनायें प्रक्रियाधीन हैं। इसके अलावा, आम्रपाली समूह की 09 परियोजनाएं, यूनिटेक समूह की 05 परियोजनाएं तथा मैसर्स जेपी इन्फ्राटेक की परियोजना भी पूरी होने वाली हैं। अब तक पूर्ण 45 परियोजनाओं में कुल स्वीकृत फ्लैट्स की संख्या 37,899 है तथा 44 प्रगतिरत परियोजनाओं में 67,077 फ्लैट्स स्वीकृत है।

Amrapali Group

आम्रपाली समूह की 09 परियोजनाओं में कुल 14,715 फ्लैट्स स्वीकृत है जबकि यूनिटेक समूह की 05 परियोजनाओं में 4,681 फ्लैट्स स्वीकृत है। इसके अलावा, जिन 07 परियोजनाओं के अधिभोग हेतु आवेदन प्राप्त नहीं हुए है उनमें 7,480 फ्लैट्स स्वीकृत है। मैसर्स जेपी इन्फ्राटेक लि. की परियोजना में 34,340 फ्लैट्स स्वीकृत है। इस तरह, नोएडा क्षेत्र में कुल 1,66,192 फ्लैट्स स्वीकृत हैं। इन स्वीकृत फ्लैट्स के सापेक्ष वर्तमान तक 97,837 फ्लैट्स का अधिभोग प्रमाण पत्र निर्गत किया जा चुका है जिनमें से 57,714 फ्लैट्स के उप पट्टा प्रलेख का निष्पादन किया जा चुका है। बिल्डर और खरीदार की समस्याओं के निस्तारण के लिए नोएडा प्राधिकरण द्वारा दोनों के बीच संवाद भी कराया जा रहा है। इससे विवादित मामलों का समाधान भी तेजी से हो रहा है। यही नहीं, बिल्डर की देयता के कारण होम बायर्स के उप पट्टा प्रलेख प्रभावित न हों, इसके लिए परियोजना की देयता की समयावधि को भी बढ़ाया गया है। इसके चलते वर्ष 2017 से अब तक कुल 26 परियोजनाओं की देयताओं को री-शेड्यूल किया जा चुका है। प्राधिकरण की देयताओं की वसूली के उद्देश्य से बिल्डर्स को एस्को एकाउन्ट खोलने की सुविधा प्रदान की गई। वर्तमान तक दो परियोजनाओं में एस्को एकाउन्ट खोला जा चुका है।

नोएडा बिल्डर-बायर्स की समस्याओं के निस्तारण के लिए यह हुए प्रयास:

  • अपूर्ण ग्रुप हाउसिंग परियोजनाओं को पूर्ण करने एवं होम बायर्स को राहत पहुंचाने के क्रम में 16 परियोजनाओं को निःशुल्क समय विस्तारण का लाभ प्रदान किया गया। इस निर्णय से इन 16 परियोजनाओं को कुल ₹263.36 करोड़ की राहत प्रदान की गई। इन परियोजनाओं में 22,064 फ्लैट खरीदारों को लाभ हुआ।
  • बिल्डर्स की जरूरतों को देखते हुए परियोजनाओं को पूर्ण करने के उद्देश्य से निर्धारित अवधि 30 जून, 2021 से बढ़ाकर 31 दिसम्बर, 2021 तक कर दी गई। इस शासनादेश का लाभ सभी 16 परियोजनाओं को प्रदान कर दिया गया है।

  • सम्पूर्ण परियोजना के अधिभोग प्रमाण पत्र के स्थान पर आंशिक अधिभोग प्रमाण-पत्र (टावर-वाइज) प्रदान करने की सुविधा प्रारम्भ की गई, जिससे होम बायर्स को उप पट्टा प्रलेख कराने में समस्या का सामना न करना पड़े। इस सुविधा का लाभ कुल 44 ग्रुप हाउसिंग परियोजनाओं को मिला है।
  • जमा धनराशि के समानुपात में प्रति फ्लैट की दर से धनराशि जमा कराने पर उप-पट्टा प्रलेख निष्पादन की सुविधा दी गई, जिससे फ्लैट बायर्स के पक्ष में उप पट्टा प्रलेख निष्पादन में गति आ सके। वर्तमान तक सात प्रकरणों में फ्लैटवार उप पट्टा प्रलेख निष्पादन की सुविधा दी जा चुकी है।