कोरोना से जंग : जानिए पीएम मोदी ने देशवासियों से क्या मांगा?
कोरोनावायरस पर बोलते हुए प्रधानमंत्री मोदी आज देश को सम्बोधित कर रहे हैं। इस सम्बोधन में प्रधानमंत्री ने कई बातें कहीं हैं जो आपको जाननी चाहिए। क्या है वो बातें
कोरोनावायरस पर बोलते हुए प्रधानमंत्री मोदी आज देश को सम्बोधित कर रहे हैं। इस सम्बोधन में प्रधानमंत्री ने कई बातें कहीं हैं जो आपको जाननी चाहिए। क्या है वो बातें
प्रधानमंत्री मोदी ने अपने सम्बोधन में संयम बरतने की देशवासियों से अपील की उन्होंने बताया कि संयम का तरीका क्या है- भीड़ से बचना, घर से बाहर निकलने से बचना। आजकल जिसे Social Distancing कहा जा रहा है, कोरोना वैश्विक महामारी के इस दौर में, ये बहुत ज्यादा आवश्यक है।
इसके साथ ही पीएम मोदी ने कहा कि, आज जब बड़े-बड़े और विकसित देशों में हम कोरोना महामारी का व्यापक प्रभाव देख रहे हैं, तो भारत पर इसका कोई प्रभाव नहीं पड़ेगा, ये मानना गलत है। उन्होंने कहा कि, अभी तक विज्ञान, कोरोना महामारी से बचने के लिए, कोई निश्चित उपाय नहीं सुझा सका है और न ही इसकी कोई वैक्सीन बन पाई है। ऐसी स्थिति में चिंता बढ़नी बहुत स्वाभाविक है।
दुनिया पर कोरोना के प्रभाव पर बोलते हुए पीएम ने कहा कि, दुनिया के जिन देशों में कोरोना वायरस का प्रभाव ज्यादा देखा जा रहा है, वहां अध्ययन में एक और बात सामने आई है। इन देशों में शुरुआती कुछ दिनों के बाद अचानक बीमारी का जैसे विस्फोट हुआ है। इन देशों में कोरोना से संक्रमित लोगों की संख्या बहुत तेजी से बढ़ी है।
पीएम ने कहा कि, ‘आपसे मैंने जब भी, जो भी मांगा है, मुझे कभी देशवासियों ने निराश नहीं किया है। ये आपके आशीर्वाद की ताकत है कि हमारे प्रयास सफल होते हैं। आज, मैं आप सभी देशवासियों से, आपसे कुछ मांगने आया हूं। मुझे आपके आने वाले कुछ सप्ताह चाहिए, आपका आने वाला कुछ समय चाहिए।’ बीते कुछ दिनों से ऐसा भी लग रहा है जैसे हम संकट से बचे हुए हैं, सब कुछ ठीक है।
वैश्विक महामारी कोरोना से निश्चिंत हो जाने की ये सोच सही नहीं है। इसलिए, प्रत्येक भारतवासी का सजग रहना, सतर्क रहना बहुत आवश्यक है। इन दो महीनों में भारत के 130 करोड़ नागरिकों ने कोरोना वैश्विक महामारी का डटकर मुकाबला किया है, आवश्यक सावधानियां बरती हैं।
उन्होंने कहा कि, पूरा विश्व इस समय संकट के बहुत बड़े गंभीर दौर से गुजर रहा है। आम तौर पर कभी जब कोई प्राकृतिक संकट आता है तो वो कुछ देशों या राज्यों तक ही सीमित रहता है। लेकिन इस बार ये संकट ऐसा है, जिसने विश्व भर में पूरी मानवजाति को संकट में डाल दिया है।