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पीएम केयर्स फंड को लेकर राहुल गांधी ने किया सवाल, कहा- दान देने वालों के नाम बताने से PM डरते क्यों हैं?

भारत-चीन विवाद पर कांग्रेस लगातार मोदी सरकार पर हमलावर रही है। गलवान घाटी में हुई हिंसक झड़प के बाद विपक्ष अक्सर केंद्र सरकार पर निशाना साध रही है।

नई दिल्ली। पीएम-केयर्स फंड को लेकर सियासत तेज होती जा रही है। कांग्रेस की तरफ से लगातार इसपर सवाल खड़े किए जा रहे हैं। शनिवार को राहुल गांधी ने एक बार फिर से पीएम-केयर्स फंड पर सवाल करते हुए कहा कि, आखिर पीएम मोदी इस फंड में दान देने वालों के नाम बताने से डरते क्यों हैं?

Rahul Gandhi PM Modi

एक ट्वीट में राहुल गांधी ने लिखा कि, “पीएम उन लोगों के नामों का खुलासा करने से क्यों डरते हैं, जिन्होंने पीएमकेयर्स के लिए उन्हें पैसे दान किए? सभी जानते हैं कि चीनी कंपनियां Huawei, Xiaomi, TikTok और OnePlus ने इसमें पैसा दिया था। आखिर वे इसकी डिटेल साझा क्यों नहीं करते?”

बता दें कि इसके पहले भी कांग्रेस चीनी कंपनियों से पीएम-केयर्स फंड में पैसा लिए जाने को लेकर सरकार और भाजपा को घेर चुकी है। पार्टी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नौ बार चीन दौरे का हवाला देते हुए उनका चीन से विशेष लगाव होने का आरोप भी लगाया था। कांग्रेस ने दावा किया है कि बीजिंग से पीएम के विशेष रिश्ते के चलते ही चीनी कंपनियों ने बड़ी रकम पीएम-केयर्स फंड में दी है।

PM cares Fund Modi

इसके पहले कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने कोरोना वायरस से लड़ने के लिए पीएम केयर्स फंड के पैसे से घटिया क्वॉलिटी के वेंटिलेटर्स खरीद कर लोगों की जिंदगी को खतरे में डालने का आरोप लगाया है। कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने एक न्यूज को ट्वीट करते हुए कहा कि पीएम केयर्स की अपारदर्शिता के कारण देश की जनता के जीवन को खतरे में डाला जा रहा है। पब्लिक मनी का उपयोग घटिया क्वॉलिटी के एजीवीए वेटिंलेटर्स उत्पाद खरीदने में किया जा रहा है। यह अचरच में डालने वाली बात है।

वहीं पीएम-केयर्स फंड को लेकर कांग्रेस प्रवक्ता अभिषेक सिंघवी ने कहा था कि, ‘अहम सवाल है कि पीएम राहत कोष के रहते कोविड के नाम पर पीएम-केयर्स का नया ट्रस्ट क्यों बनाया गया जिसकी न सीएजी द्वारा ऑडिट का प्रावधान है और न ही इसे आरटीआई में रखा गया है।’

galwant ghati

बता दें कि भारत-चीन विवाद पर कांग्रेस लगातार मोदी सरकार पर हमलावर रही है। गलवान घाटी में हुई हिंसक झड़प के बाद विपक्ष अक्सर केंद्र सरकार पर निशाना साध रही है।