राज्यपाल से मिलने के बाद भी परेशान हैं गहलोत, राजस्थान के रण में कही नंबर ना बिगाड़ दे खेल
विधानसभा समीकरण के मुताबिक विधानसभा अध्यक्ष को मिलाकर कांग्रेस के 100 विधायक अशोक गहलोत गुट पास हैं। भारतीय ट्राइबल पार्टी (बीटीपी) के दो विधायकों के समर्थन देने के बाद अशोक गहलोत के समर्थक विधायकों का आंकड़ा 102 हो जाता है।
नई दिल्ली। राजस्थान में जारी सियासी संकट के बीच शनिवार शाम को मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने राज्य के राज्यपाल कलराज मिश्र से मुलाकात की। अशोक गहलोत ने राज्यपाल को राज्य की ताजा सियासी स्थिति से अवगत कराया। उन्होंने राज्यपाल से मुलाकात कर अपने पास बहुमत होने का दावा किया।
सीएम गहलोत ने राज्यपाल कलराज मिश्र को समर्थन करने वाले 102 विधायकों की सूची सौंपी। बता दें कि भारतीय ट्राइबल पार्टी (बीटीपी) के दो विधायक आज ही अशोक गहलोत को समर्थन देने होटल में पहुंचे थे।
#Rajasthan Chief Minister Ashok Gehlot paid a courtesy visit to Governor Kalraj Mishra and briefed him on the efforts being made in the state to fight #COVID19 pandemic. The meet between the two lasted for around 45 minutes. https://t.co/Xi7xvx05KB
— ANI (@ANI) July 18, 2020
हालांकि राज्यपाल से मिलने के बाद भी सीएम गहलोत की परेशानी कम होते नहीं दिख रही है। वहीं बात करें राजस्थान के सियासी रण में नंबरों की, तो कांग्रेस और मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की सांसें अटका रखी हैं। विधानसभा समीकरण के मुताबिक विधानसभा अध्यक्ष को मिलाकर कांग्रेस के 100 विधायक अशोक गहलोत गुट पास हैं। भारतीय ट्राइबल पार्टी (बीटीपी) के दो विधायकों के समर्थन देने के बाद अशोक गहलोत के समर्थक विधायकों का आंकड़ा 102 हो जाता है। 200 सदस्यीय विधानसभा सभा में सरकार गठन के लिए 101 विधायकों का समर्थन आवश्यक है।
अगर गहलोत की लिस्ट से चार विधायक खिसक जाएं, तो कांग्रेस सरकार की मुश्किलें बढ़ा जाएंगी और ऐसे में गहलोत सरकार अल्पमत में आ जाएगी। इससे पहले बागी हुए सचिन पायलट के कैंप ने अपने साथ 30 विधायक होने का दावा किया था। वहीं भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के 72 विधायक हैं। राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी के तीन विधायक हैं। मतलब भाजपा गठबंधन के पास कुल 75 विधायक हैं।
वसुंधरा राजे ने तोड़ी चुप्पी
राजस्थान की पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे ने राजस्थान के हालिया राजनीतिक घटनाक्रम पर शनिवार को अपनी चुप्पी तोड़ी और उन्होंने ट्वीट किया कि कांग्रेस सरकार में आंतरिक कलह का नुकसान राजस्थान की जनता को उठाना पड़ रहा है। वसुंधरा ने कहा, “यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि कांग्रेस की आंरिक कलह का नुकसान राजस्थान की जनता को उठाना पड़ रहा है।”
उन्होंने कहा, “हमारे प्रदेश में कोरोना से 500 से अधिक मौतें हो चुकी हैं तथा करीब 28,000 लोग कोरोना पॉजिटिव हैं। टिड्डियां हमारे किसानों के खेतों पर लगातार हमले कर रही हैं। महिलाओं के खिलाफ अपराध ने सीमाएं लांघ दी है। प्रदेशभर में बिजली समस्या चरम पर है और ये तो केवल मैं कुछ ही समस्याएं बता रही हूं।”
पूर्व मुख्यमंत्री ने ट्वीट किया, “कांग्रेस भाजपा और भाजपा नेतृत्व पर दोष लगाने का प्रयास कर रही है। सरकार के लिए सिर्फ और सिर्फ जनता का हित सर्वोपरि होना चाहिए। कभी तो जनता के बारे में सोचिए।”
#RajasthanFirst pic.twitter.com/Qzq1iv0Yuy
— Vasundhara Raje (@VasundharaBJP) July 18, 2020
राजस्थान में पूर्व उपमुख्यमंत्री सचिन पायलट द्वारा मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के खिलाफ बागी तेवर दिखाने के बाद राजनीतिक संकट बढ़ गया है।