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Punjab: CM न बनने पर जाखड़ का छलका दर्द, पंजाब कांग्रेस में मचे खींचतान पर ट्वीट कर दी ये नसीहत

Punjab: दरअसल जाखड़ ने अकाल तख्त के जत्थेदार ज्ञानी हरप्रीत सिंह का एक बयान पर अपनी प्रतिक्रिया दी है। सुनील जाखड़ ने ट्वीट का अपना दर्द बताते हुए लिखा, अकाल तख्त साहिब के जत्थेदार के यह दूरदर्शी शब्दों के लिए इससे बेहतर वक्त नहीं हो सकता था। आगे जाखड़ कांग्रेस को नसीहत भी देते नजर आए।

नई दिल्ली। पंजाब (Punjab) में अगले साल होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले कांग्रेस पार्टी में अंतर्कलह जारी है। पंजाब में नेतृत्व परिवर्तन के बाद भी कांग्रेस पार्टी में गुटबाजी शांत होने का नाम नहीं ले रही है। कैप्टन अमरिंदर सिंह के इस्तीफे और चरणजीत सिंह के नए मुख्यमंत्री चुने जाने के बाद कांग्रेस हाईकमान को उम्मीद थी कि मामला ठंडा हो जाएगा है। लेकिन चन्नी को मुख्यमंत्री बनाए जाने के बाद पार्टी में अंदरूनी कलह और बढ़ गई है। अब कांग्रेस नेता और पूर्व प्रदेश अध्यक्ष सुनील जाखड़ बगावती तेवर में आ गए हैं। एक तरफ जहा सुनील जाखड़ ने पार्टी प्रभारी हरीश रावत के पंजाब में अगला चुनाव नवजोत सिंह सिद्धू के नेतृत्व में लड़ने के बयान पर सवाल उठाए हैं। वहीं अब पंजाब का मुख्यमंत्री न बनने पर उनका दर्द छलका है।

sunil jakhar and charanjit singh channi

दरअसल जाखड़ ने अकाल तख्त के जत्थेदार ज्ञानी हरप्रीत सिंह का एक बयान पर अपनी प्रतिक्रिया दी है। सुनील जाखड़ ने ट्वीट का अपना दर्द बताते हुए लिखा, अकाल तख्त साहिब के जत्थेदार के यह दूरदर्शी शब्दों के लिए इससे बेहतर वक्त नहीं हो सकता था। आगे जाखड़ कांग्रेस को नसीहत भी देते नजर आए। उन्होंने कहा, जब  संकीर्ण सोच वाले छोटे लोगों ने हाई पोजिशन पाने के लिए पंजाब को वर्ग, जाति और पहचान के आधार पर बांटने की कोशिश की। वह गुरु जी के ‘मानस की जात सबे एको पहिचानबो’ के संदेश को भी भुला दिया।

पंजाब कांग्रेस में नहीं थमा विवाद

भले ही कांग्रेस आलाकमान ने नेतृत्व परिवर्तन कर कैप्टन की जगह चरणजीत सिंह को मुख्यमंत्री बना दिया हो, लेकिन पार्टी में अंदरूनी कलह और बढ़ता जा रहा है। इससे पहले सुनील जाखड़ ने पार्टी प्रभारी हरीश रावत के पंजाब में अगला चुनाव नवजोत सिंह सिद्धू के नेतृत्व में लड़ने के बयान पर सवाल उठाए हैं।

बता दें कि इससे पहले कैप्टन के इस्तीफे के बाद सुनील जाखड़ का नाम मुख्यमंत्री की रेस में सबसे आगे था। हालांकि, बाद में कांग्रेस आलाकमान ने चरणजीत चन्नी को सीएम बनाने का फैसला कर दिया।