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Farewell of Chief Justice: बतौर CJI एनवी रमन्ना का था आज आखिरी दिन, वरिष्ठ अधिवक्ता दुष्यंत दवे विदाई समारोह में लगे रोने, कह दी ऐसी बात

वरिष्ठ अधिवक्ता दुष्यंत दवे ने कहा कि न्यायपालिका, कार्यपालिका और संसद के बीच नियंत्रण और संतुलन बनाए रखा। दवे ने रमना को जनता का न्यायधीश बताया है। इस बीच वरिष्ठ अधिवक्ता कपिल सिब्बल ने भी कहा कि जस्टिस रमना को मुश्किल वक्त में भी संतुलन बनाए रखने के लिए हमेशा याद किया जाएगा।

नई दिल्ली। आज यानी की शुक्रवार को चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया एनवी रमन्ना के कार्यकाल का आखिरी दिन था। इस मौके पर आयोजित किए गए विदाई समारोह में विधिक क्षेत्र के कई वरिष्ठ अधिकारी शिरकत हुए। इस बीच चीफ जस्टिस की तमाम उपलब्धियों पर विस्तृत चर्चा भी हुई, लेकिन जब वरिष्ठ अधिवक्ता दुष्यंत दवे समारोह के दौरान जस्टिस एनवी रमना का जिक्र करते हुए भावुक हो गए, तो वो लम्हा थोड़ा गजमदा हो जाए। समारोह में मौजूद लोगों के बीच एक खामोशी छा गई। आइए, अब आपको बताते हैं कि उन्होंने क्या कुछ कहा है।

वरिष्ठ अधिवक्ता दुष्यंत दवे ने कहा कि न्यायपालिका, कार्यपालिका और संसद के बीच नियंत्रण और संतुलन बनाए रखा। दवे ने रमना को जनता का न्यायधीश बताया है। इस बीच वरिष्ठ अधिवक्ता कपिल सिब्बल ने भी कहा कि जस्टिस रमना को मुश्किल वक्त में भी संतुलन बनाए रखने के लिए हमेशा याद किया जाएगा। वहीं, वरिष्ठ अधिवक्ता दुष्यंत दवे ने आगे कहा कि मैं इस देश के नागरिकों की ओर से कह रहा हूं कि आप उनके लिए खड़े रहे हैं।

आपने अधिकार और संवैधानिक अधिकारों को बरकरार रखा है। जब आपने पदभार संभाला था, तो जो कुछ मैंने इस अदालत में देखा था, उसे देखने के बाद संशय में आ गया था। मैं आखिरी में यह कह चाहूंगा कि आपने हमारी अपेक्षाओं को पूरा किया है।

चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया ने बुनियादी न्यायिक ढांचे के अभाव पर जताया अफसोस, रिक्तियां भरने पर दिया जोर | TV9 Bharatvarshआपने जिस तरह न्यायपालिका, कार्यपालिका और संसद के बीच संतुलन बैठाने का काम किया है, वह प्रशंसनीय है। वहीं, वरिष्ठ अधिवक्ता कपिल सिब्बल ने आगे कहा कि जब समुंद्र शांत होता है, तो उसे चलाना बहुत ही आसान होता है, लेकिन जब समुंद्र अशांत होता है, तो उसे चलाना आसान नहीं होता है, लेकिन बतौर जीफ जस्टिस एनवी रमन्ना ने ऐसा करके दिखाया है, जिसके लिए वे तारीफ-ए-काबिल हैं।