बता दें कि नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) के खिलाफ एक रैली में वारिस पठान ने कहा था कि यह समय आ गया है कि हम एकजुट हो जाएं और आजादी लें। याद रखें, हम 15 करोड़ ही 100 करोड़ लोगों पर भारी पड़ सकते हैं। उनके इस बयान की सबने कड़ी आलोचना की थी।