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Astrology: पूजा करते समय आते हैं आंखों में आंसू?, जानें क्या हैं इनके सकारात्मक और नकारात्मक अर्थ?

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नई दिल्ली। आंसू…सुख और दुख के साथी होते हैं। हमारे जीवन में  कुछ भी हो, चाहें ज्यादा खुशी हो या फिर दुख, सबसे पहले आंसू आते हैं। आंखों में आंसुओं के आने की दूसरी वजहें भी हो सकती हैं, जैसे आंखों में एलर्जी या जुखाम। इन सब कारणों के अलावा कुछ लोगों की आंखों में पूजा करते वक्त भी आंसू आ जाते हैं, लेकिन क्या आप जानते हैं ज्योतिष के अनुसार इसकी एक खास वजह होती है, तो आइये जानते हैं, पूजा करते वक्त आंखों में आंसू आने का क्या अर्थ होता है…

शास्त्रों के अनुसार, अगर पूजा के समय आपकी आंखों में आंसू आते हैं तो, आपको समझ जाना चाहिए कि आपकी प्रार्थना ईश्वर तक पहुंच रही है और वो आपको कोई संकेत देना चाह रहे हैं। पूजा के समय आंसू आना इस बात का संकेत है कि, आपका मन शुद्ध है और आप पूरे अंर्तमन से भगवान का ध्यान कर रहे हो, इससे आपका सीधा संपर्क ईश्वर से हो रहा है। पूजा के समय आंखों से निकले आंसू इस बात का भी संकेत देते हैं कि, आपकी पूजा सफल हो गई है। इसके अलावा इसका एक अर्थ ये भी है कि भगवान आपको संकेत दे रहे हैं कि जल्द ही आपकी परेशानी खत्म होने वाली है।

परेशानियों तो सभी के जीवन में आती रहती हैं। ऐसे में हमें कभी न तो इससे घबराना चाहिए और न ही डरना चाहिए। बल्कि हिम्मत जुटाकर संयम और बहादुरी से उनका सामना करना चाहिए। ईश्वर कई बार अपने भक्तों की परीक्षा ले रहे होते हैं जिसे हमें खुश होकर पार करना चाहिए। शास्त्र कहते हैं कि अगर सच्चे मन से कोई पूजा की जाए तो, उसे भगवान सदैव स्वीकार करते हैं। इसके अलावा कहा जाता है कि अगर पूजा करते समय किसी व्यक्ति को उबासी या नींद आती हैं तो, इसका अर्थ है कि उस व्यक्ति के मन में दो तरह के विचार चल रहे हैं।

आप ये भी कह सकते हैं कि दोहरे विचार होने की वजह से उस व्यक्ति का पूजा में मन नहीं लग रहा है, जिसके कारण उसे नींद और उबासी आ रही है। ऐसे में ये एक नकारात्मक संकेत हो सकता है। ये इस बात का संकेत है कि हमारा मन पूजा-पाठ, धार्मिक ग्रंथों और आरती में नहीं लग रहा है। नींद और उबासी के साथ अगर शरीर में किसी प्रकार का भारीपन भी महसूस हो तो, समझ जाना चाहिए कि कोई न कोई नेगेटिव एनर्जी आपके आस पास मौजूद है।

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