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DU: पहली कटऑफ के लिए सोमवार से शुरू होकर 6 अक्टूबर तक रजिस्ट्रेशन

delhi university

नई दिल्ली। दिल्ली यूनिवर्सिटी की पहली कटऑफ लिस्ट में जिन छात्रों का नाम आया है, उन्हें डीयू में दाखिले के लिए सोमवार 4 अक्टूबर से 6 अक्टूबर तक का समय मिलेगा। दाखिले के लिए प्रत्येक छात्र को अपने चयन किए गए पाठ्यक्रम में पंजीकरण और फीस का भुगतान करना होगा। छात्रों को बड़ी राहत देते हुए दिल्ली यूनिवर्सिटी पहली बार एक निश्चित समय तक फीस रिटर्न का विकल्प देने जा रही है। कोरोना महामारी के चलते दिल्ली यूनिवर्सिटी में इस बार फीस नहीं बढ़ाने का भी फैसला किया है। दिल्ली विश्वविद्यालय का कहना है कि कोरोना के कारण कई लोगों की आमदनी में गिरावट आई है और कुछ का रोजगार चला गया। इसी देखते हुए दिल्ली विश्वविद्यालय ने फीस न बढ़ाने का फैसला किया है।

दिल्ली विश्वविद्यालय के मुताबिक इसके अलावा भी छात्रों को एक और राहत दी है। दाखिला फीस भरने के बाद यदि कोई छात्र अपना नाम वापस लेना चाहे तो विश्वविद्यालय ऐसे छात्रों को पूरी फीस वापस करेगा। छात्र का यदि किसी अन्य पाठ्यक्रम, शिक्षण संस्थान में दाखिला हो गया है और इस वजह से वह दिल्ली विश्वविद्यालय में दाखिला नहीं लेना चाहता तो ऐसी स्थिति में भी छात्र की फीस वापस कर दी जाएगी। डीयू दाखिला समिति के मुताबिक छात्रों को इसके लिए 31 अक्टूबर से पहले सूचना देनी होगी। दिल्ली विश्वविद्यालय में दाखिला पा चुके छात्र यदि 31 अक्टूबर से पहले अपना नाम वापस लेते हैं तो उनको पूरी फीस वापस की जाएगी। दूसरी ओर यदि कोई छात्र 31 अक्टूबर के बाद अपनी सीट छोड़ना चाहता है तो ऐसी स्थिति में प्रोसेसिंग चार्ज के रूप में 1000 का शुल्क विश्वविद्यालय वसूलेगा।

दिल्ली विश्वविद्यालय ने आधिकारिक तौर पर 1 एक अक्टूबर को अपनी पहली कटऑफ लिस्ट जारी की है। पहली कटऑफ लिस्ट में जीसस एंड मैरी कॉलेज ने बीए ऑनर्स साइकोलॉजी के लिए 100 प्रतिशत कटऑफ जारी की है। जीसस एंड मैरी कॉलेज के अलावा रामजस कॉलेज और एसआरसीसी कॉलेज ने भी 100 फीसदी तक कटऑफ रखी है।
रामजस कॉलेज ने 3 कोर्सेज में 100 फीसदी तक कटऑफ रखी है। एसआरसीसी कॉलेज ने अपने 2 कोर्सेस में 100 फीसदी तक कटऑफ रखी है। दिल्ली विश्वविद्यालय की एग्जीक्यूटिव काउंसिल के सदस्य अशोक अग्रवाल ने कहना है कि 100 फीसदी की कट ऑफ लिस्ट हजारों मेधावी छात्रों को हतोत्साहित करती है। हजारों छात्र 90 फीसदी से अधिक अंक लाकर भी दाखिला हासिल नहीं ले पा रहे हैं। यह स्थिति निराश करने वाली है। उन्होंने दिल्ली विश्वविद्यालय समेत अन्य सभी विश्वविद्यालयों में प्रवेश परीक्षा के आधार पर दाखिला देने की मांग विश्वविद्यालय प्रशासन एवं शिक्षा मंत्रालय के समक्ष रखी है।

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