नई दिल्ली। बॉलीवुड के किंग खान शाहरुख खान और गौरी की शादी को 28 बरस बीत चुके हैं लेकिन बादशाह खान की ये शादी इतनी आसन नहीं थी। शाहरुख़ और गौरी की लव स्टोरी से सारा जमाना वाकिफ है। शाहरुख को गौरी का साथ पाने के लिए कई तरह के पापड़ बेलने पड़े थे क्योंकि गौरी एक हिन्दू ब्राह्मण परिवार से हैं और शाहरुख़ एक मुस्लिम परिवार से। इसलिए गौरी का परिवार इस शादी के सख्त खिलाफ था। उस वक्त तक शाहरुख़ की बॉलीवुड में एंट्री भी नहीं हुई थी। शुरुआत में गौरी के माता-पिता शाहरुख़ को स्वीकार नहीं करना चाहते थे।
इन दोनों को अलग करने के लिए गौरी की फैमिली ने तरह-तरह के पैंतरे भी आजमाए। गौरी की मां ने तो नींद की गोलियां तक खा ली थी इन दोनों को डराने के लिए ताकि ये दोनों एक-दूसरे से शादी न कर पाएं, पर शाहरुख़ और गौरी कहां मानने वाले थे। कई उतार-चढ़ाव के बाद आखिरकार गौरी के माता-पिता ने शाहरुख़ को स्वीकार कर लिया और 25 अक्टूबर 1991 को शाहरुख़ ने गौरी के साथ शादी कर ली।
एक इंटरव्यू में शाहरुख़ खान ने बताया कि गौरी के रिश्तेदार इस शादी से खुश नहीं थे। वो सभी पुराने जमाने की सोच रखते थे। वे आपस में बातें कर रहे थे कि लड़का मुसलमान है, लड़की को भी मुस्लिम बना देगा…उसका नाम भी बदल देगा। तभी शाहरुख़ ने मजाक में गौरी से कह दिया कि ‘नमाज पढ़ने के लिए बुर्का पहनना है, इतना कहते ही गौरी का पूरा परिवार चुप हो गया।’ इस इंटरव्यू के दौरान शाहरुख़ ने बताया कि ‘वे सब पंजाबी में बात कर रहे थे और मैंने उस वक्त गौरी से कहा था कि ‘चलो गौरी बुर्का पहनकर दुआ करना शुरू करते हैं।’, वहां मौजूद लोगों को लगा कि हमने पहले ही गौरी का धर्म बदल दिया है।’
आज शाहरुख़ खान और गौरी अपनी शादीशुदा जिंदगी में बेहद खुश हैं और इनके तीन बच्चे आर्यन, सुहाना और अबराम हैं। आज गौरी खान एक प्रोड्यूसर के साथ-साथ एक सफल इंटीरियर डिजाइनर भी हैं।