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ToD Tariff Electricity: “रात में चलेंगे AC, कूलर तो घोड़े की तरह दौड़ेगा मीटर”.. केंद्र सरकार के बिजली संशोधन बिल पर लोगों ने ऐसे किया रिएक्ट

electricity bill

नयी दिल्ली। केंद्रीय ऊर्जा मंत्रालय ने “बिजली (उपभोक्ताओं के अधिकार) नियम, 2020” में संशोधन किया है। इसमें दिन का समय (Time of Day – ToD) टैरिफ और स्मार्ट मीटरिंग नियमों का सरलीकरण शामिल किया गया है। ToD उपभोक्ताओं को बिजली बिल कम करने की सुविधा प्रदान करेगा और विद्युत प्रणाली को संशोधित करने में सहायता करेगा। इस खबर के सामने आने के बाद से ही सोशल मीडिया पर लोग तरह तरह से प्रतिक्रिया दे रहे हैं। कुछ लोग इसको लेकर सरकार की आलोचना कर रहे हैं कुछ नियमों में संशोधन को लेकर सरकार को सलाह देते नजर आ रहे हैं। देखिए कैसे अलग अलग यूजर्स ने ट्विटर पर इस बदलाव को लेकर प्रतिक्रियाएं दी..

 

एक यूजर ने ट्विटर पर लिखा, “कृपया 1 राष्ट्र, 1 बिजली टैरिफ लागू करें और पेट्रोल और डीजल को जीएसटी के तहत लाएं ताकि 1 राष्ट्र, 1 पेट्रोल प्रक्रिया हो सके, यह कांग्रेस-केजरीवाल की रेवड़ी स्कीम को खत्म करने का एकमात्र तरीका है। दिन के समय बहुत से लोग बाहर काम करने के लिए होते हैं, इसलिए बिजली महंगी होनी चाहिए। रात को जब सभी सोते हैं, एसी और कूलर चलते हैं और बिजली की खपत ज्यादा होती है, तब बिजली सस्ती होनी चाहिए।

दूसरे यूजर ने हंसते हुए लिखा, “खैर, मोदी जी ने किया है तो कुछ सोच समझ कर ही किया होगा।”

जन विरोधी , दिन को कौन ज्यादा बिजली उपयोग करता हैं सब तो काम पर होते हैं , जितना युनिट होगा उतना ही बिल आना चाहिए कोई फायदा नहीं इस हाथ दिया उस हाथ लिया, जैसे पहले से चल रहा हैं वही ठीक हैं..

दिन में ज्यादातर बिजली कहा इस्तमाल होती है ? ऑफिस और काम की जगह पर ज्यादातर आम जनता सबसे ज्यादा बिजली इस्तमाल करते है वह रात का समय होता है। और वैसे भी बिजली के दाम बहुत ज्यादा है, दोनो समय पर दाम कम करना चाहिए और स्लैब के हिसाब से यूनिट चार्ज बढ़ाना चाहिए।

और रात में सामान्य से 20% अधिक चार्ज वसूला जाएगा, मतलब जितनी ख़पत करेंगे उससे 20% अधिक बिल आयेगा..

क्यों न अब सौर ऊर्जा के लिए जाएं। टेस्ला सोलर इंडिया में आए और गेम को एकदम बदल दें।

एक यूजर ने लिखा, “20% की बचत नहीं होगी, बल्कि 50% तक बिजली बिल बढ़ जाएगा। नए नियमों के तहत, दिन के समय बिजली बिल कम होगा, लेकिन रात के समय उच्चतम उपयोग के समय बिल ज्यादा होगा।

एक अन्य यूजर ने अपनी प्रतिक्रिया देते हुए लिखा, “ज्यादातर घरों में लोग दिन के समय नौकरी या काम करने के लिए बाहर रहते हैं, रात को सभी घर में रहते हैं, और रात को खपत ज्यादा होती है। सरकार चाहे तो बिजली कंपनियों पर नियंत्रण बनाकर लोगों को राहत दे सकती है, लेकिन जनता का सुकून सरकार देख नहीं सकती।

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