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Udhayanidhi Sanatana Remarks: ‘जैसे नरेंद्र मोदी…’, सामने आई उदयनिधि स्टालिन की अपने बयान पर सफाई, कही थी सनातन धर्म को खत्म करने की बात

Udhayanidhi Stalin

नई दिल्ली। इस सनातन धर्म भारतीय राजनीति में चर्चा का विषय बना हुआ है। वजह है तमिलनाडु सरकार में मंत्री और मुख्यमंत्री एमके स्टालिन के बेटे उदयनिधि स्टालिन (Udhayanidhi Stalin)का एक बयान जिसमें उन्होंने सनातन धर्म की तुलना डेंगू-मलेरिया और कोरोना से कर दी। उदयनिधि स्टालिन ने ये तक कह दिया कि सनातन धर्म ऐसा ही जिसका विरोध नहीं किया जाना चाहिए बल्कि इसे तो जड़ से ही खत्म कर देना चाहिए। शनिवार को एक कार्यक्रम में दिए गए अपने इस बयान के बाद से ही उदयनिधि स्टालिन विवादों में हैं। भारतीय जनता पार्टी की तरफ से उन पर हमला भी किया जा रहा है। अब अपने बयान पर मचे बवाल के बीच उदयनिधि स्टालिन ने देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का नाम लेते हुए अपने सनातन (Sanatana Dharma) वाले बयान पर सफाई दी है।

क्या बोले उदयनिधि स्टालिन?

बीते दिन शनिवार को उदयनिधि स्टालिन ने ये विवादित बयान सनातन उन्मूलन सम्मेलन में दिया था। यहां बोलते हुए उदयनिधि स्टालिन ने सनातन धर्म को पूरी तरह से खत्म करने की बात कही जिसके बाद से ही हिन्दू संगठन उनके खिलाफ मोर्चा खोले बैठे हैं। इस विवादित बयान के बाद उनके (उदयनिधि स्टालिन) खिलाफ पुलिस में शिकायत भी दर्ज हो चुकी है। अब अपने खिलाफ लोगों का गुस्सा भड़कते देख उदयनिधि स्टालिन सामने आए हैं और अपने बयान पर सफाई दी है।

मीडिया से रूबरू होते हुए उदयनिधि स्टालिन ने कहा, “कुछ लोग मेरे बयान पर बचकानी बातें कर रहे हैं। मैंने कभी नरसंहार के लिए नहीं कहा। ऐसे तो जब पीएम मोदी कांग्रेस मुक्त भारत कहते हैं तो क्या उनका मतलब कांग्रेसियों को मारना होता है?”। इससे पहले बीते दिन रविवार को भी उदयनिधि स्टालिन का बयान सामने आया था जिसमें वो ये कह रहे थे कि उन्होंने कुछ गलत नहीं कहा है। वो अपने बयान पर कायम हैं। लोग उनके बयान का गलत मतलब निकाल रहे हैं। अगर उन्हें अपने बयान के लिए कानूनी प्रक्रिया का भी सामना करना पड़ता है तो वो इसके लिए तैयार हैं।

बीजेपी ने किया था पलटवार

यहां आपको बता दें कि जब से उदयनिधि का ये बयान सामने आया है। भारतीय जनता पार्टी उन पर हमलावर है। बीते दिन बीजेपी आईटी सेल के अध्यक्ष अमित मालवीय ने उदयनिधि के बयान पर तीखा हमला बोलते हुए कहा था, “उदयनिधि स्टालिन ने ना सिर्फ हिन्दू धर्म को डेंगू-मलेरिया से जोड़ा बल्कि वो इसे खत्म कर देने के लिए कह रहे हैं। इस तरह से वो सनातन धर्म को मानने वाली भारत की 80% आबादी के नरसंहार का आह्वान कर रहे हैं”।

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