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Punjab: पंजाब में नहीं थम रहा कांग्रेस का घमासान, जारी है कैप्टन Vs सिद्धू संग्राम, अब अमरिंदर चलने जा रहे ये दांव

Punjab: इसी कदम के तहत पहला निशाना बन सकते हैं मोगा के बाघापुराना से कांग्रेस के विधायक दर्शन बराड़। दर्शन बराड़ पर आरोप लगा था कि उन्होंने होशियारपुर में सरकारी जमीन पर क्रेशर लगाकर अवैध खनन किया। जिससे पंजाब सरकार को करोड़ों रुपए का नुकसान हुआ।

चंडीगढ़। पंजाब कांग्रेस में सीएम कैप्टन अमरिंदर सिंह और नए नियुक्त प्रदेश अध्यक्ष नवजोत सिंह सिद्धू के बीच जारी घमासान का अंत होता नहीं दिख रहा है। इस जंग में कैप्टन अब नया दांव चलने जा रहे हैं।नवजोत सिंह सिद्धू ने बुधवार को 62 विधायकों के साथ अमृतसर में अपनी ताकत की नुमाइश की थी। ऐसे में कैप्टन का निशाना अब ये विधायक बन सकते हैं। कैप्टन खेमे से छनकर आई खबरों के मुताबिक अब सिद्धू समर्थक विधायकों पर कैप्टन का हमला होने जा रहा है। इसी कदम के तहत पहला निशाना बन सकते हैं मोगा के बाघापुराना से कांग्रेस के विधायक दर्शन बराड़। दर्शन बराड़ पर आरोप लगा था कि उन्होंने होशियारपुर में सरकारी जमीन पर क्रेशर लगाकर अवैध खनन किया। जिससे पंजाब सरकार को करोड़ों रुपए का नुकसान हुआ। बराड़ को इस मामले में खनन विभाग ने पिछले साल दिसंबर में नोटिस भेजकर 1 करोड़ 65 लाख रुपए का जुर्माना भरने के लिए कहा था।

इस बीच, खबरों के मुताबिक बुधवार को सिद्धू के घर के बाहर पंजाब पुलिस की सीआईडी के अफसर तैनात थे। उनकी नजर इस पर थी कि कौन-कौन कांग्रेसी विधायक सिद्धू के साथ मिलने आ रहा है। बताया जा रहा है कि तमाम कांग्रेसी विधायकों और मंत्रियों के बारे में कैप्टन पहले ही पार्टी आलाकमान को उनकी कारगुजारी की जानकारी दे चुके हैं।

दर्शन सिंह तभी से सीएम अमरिंदर सिंह पर लगातार दबाव बना रहे थे कि इस नोटिस और जुर्माने का आदेश रद्द करवा दिया जाए, लेकिन कैप्टन ने ऐसा नहीं किया था। इसके बाद ही बराड़ ने सिद्धू का पाला पकड़ लिया। बताया जा रहा है कि सिद्धू के शक्ति प्रदर्शन के बाद अब कैप्टन ने बराड़ की अवैध खनन की फाइल दोबारा खोलने का फैसला किया है। माना जा रहा है कि कानूनी दांव-पेच में बराड़ का फंसना तय है।

कैप्टन अमरिंदर सिंह की ओर से मांग की गई है कि सिद्धू अपने विवादित टिप्पणी वाले ट्वीट्स पर माफी मांगें, लेकिन सिद्धू खेमे की ओर से साफ कह दिया गया है कि वह माफी नहीं मांगेंगे। कैप्टन का कहना है कि माफी न मांगने तक किसी कीमत पर सिद्धू से सीएम मुलाकात नहीं करेंगे। वहीं, कांग्रेस आलाकमान का वरदहस्त हासिल कर चुके सिद्धू अपने साथ विधायकों की तादाद लगातार बढ़ाते जा रहे हैं।

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