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Kolkata Rape-Murder Case: कोलकाता रेप मर्डर केस में सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद हड़ताल वापस लेंगे डॉक्टर, जानिए सरकार को कितने समय का दिया गया अल्टीमेटम?

Kolkata Rape-Murder Case: सुप्रीम कोर्ट ने डॉक्टरों की सुरक्षा के लिए महत्वपूर्ण कदम उठाते हुए 10 सदस्यीय नेशनल टास्क फोर्स का गठन किया है। यह टास्क फोर्स लिंग आधारित हिंसा की रोकथाम और ट्रेनी डॉक्टरों, निवासी और गैर-निवासी डॉक्टरों की सुरक्षा के लिए कार्य योजना तैयार करेगा। चीफ जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ ने कहा कि टास्क फोर्स तीन सप्ताह के भीतर अपनी अंतरिम रिपोर्ट और दो महीने के भीतर अंतिम रिपोर्ट पेश करेगा।

नई दिल्ली। कोलकाता में 31 वर्षीय ट्रेनी डॉक्टर के साथ बलात्कार और उसकी हत्या की घटना ने पूरे देश में आक्रोश पैदा कर दिया है। इस घटना के बाद डॉक्टरों ने हड़ताल शुरू कर दी थी, और अपनी सुरक्षा की मांग कर रहे थे। सुप्रीम कोर्ट ने मंगलवार को मेडिकल प्रोफेशनल्स की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए 10 सदस्यीय नेशनल टास्क फोर्स बनाने का आदेश दिया है। कोर्ट के इस फैसले के बाद डॉक्टरों ने अपनी हड़ताल को स्थगित करने का फैसला लिया है, और वे अब काम पर लौटने की तैयारी कर रहे हैं।

डॉक्टरों ने कहा है कि उन्होंने हड़ताल को 45 दिनों के लिए स्थगित कर दिया है और अभी इसे वापस ले रहे हैं। वे देखेंगे कि आगे क्या कदम उठाए जाते हैं। डॉक्टर गौतम का कहना है कि सुप्रीम कोर्ट ने हमारी सभी समस्याओं को गंभीरता से सुना है, इसलिए हमने हड़ताल को फिलहाल होल्ड पर रखने का निर्णय लिया है। अब सभी डॉक्टर अपनी सेवाएं फिर से शुरू करेंगे।

सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई के तुरंत बाद विभिन्न डॉक्टर संगठनों ने एक बैठक आयोजित की थी, जिसमें हड़ताल वापस लेने के संकेत दिए गए थे। दरअसल, 9 अगस्त को कोलकाता के आरजी कर मेडिकल कॉलेज अस्पताल में एक ट्रेनी डॉक्टर का शव मिला था, जिसके शरीर पर कई चोटों के निशान थे। इस घटना के बाद देशभर में आक्रोश फैल गया और डॉक्टरों ने सड़क पर उतरकर हड़ताल शुरू कर दी, जिससे अस्पतालों की सेवाएं बाधित हो गईं और केवल आपातकालीन सेवाएं चालू रहीं। डॉक्टरों की मुख्य चिंता अपनी सुरक्षा को लेकर थी।

10 सदस्यीय नेशनल टास्क फोर्स तीन सप्ताह में अंतरिम रिपोर्ट सौंपेगा
सुप्रीम कोर्ट ने डॉक्टरों की सुरक्षा के लिए महत्वपूर्ण कदम उठाते हुए 10 सदस्यीय नेशनल टास्क फोर्स का गठन किया है। यह टास्क फोर्स लिंग आधारित हिंसा की रोकथाम और ट्रेनी डॉक्टरों, निवासी और गैर-निवासी डॉक्टरों की सुरक्षा के लिए कार्य योजना तैयार करेगा। चीफ जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ ने कहा कि टास्क फोर्स तीन सप्ताह के भीतर अपनी अंतरिम रिपोर्ट और दो महीने के भीतर अंतिम रिपोर्ट पेश करेगा।

महिला डॉक्टरों की सुरक्षा को राष्ट्रीय मुद्दा बताते हुए सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि देश भर में मेडिकल प्रोफेशनल्स और हेल्थ केयर वर्कर्स की सुरक्षा के लिए एक व्यापक गाइडलाइन तैयार की जाएगी। महिला डॉक्टरों की सुरक्षा को राष्ट्रीय हित और समानता के सिद्धांत के तहत प्राथमिकता दी जाएगी। सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले को स्वत: संज्ञान में लेते हुए प्राथमिकता के आधार पर सुनवाई के लिए सूचीबद्ध किया था।

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