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Video: ‘मुझे मदरसा नहीं जाना है, पैरों में जंजीर बांधकर बेतों से होती है पिटाई, बच्चे ने बयां किया दर्द, फिर भी नहीं पसीजा मां-बाप का दिल

नई दिल्ली।  यूं तो खबरों की दुनिया में बेशुमार खबरों की आवाजाही जारी रहती है, लेकिन कुछ खबरें ऐसी होती हैं, जो कि लोगों के जेहन में घर कर जाया करती है, जिसे भुला पाना आसान नहीं होता है। आज इस रिपोर्ट में हम आपको एक ऐसी ही खबर के बारे में बताने जा रहे हैं, जो कि अभी खासा सुर्खियों में है। जिस किसी को भी इस खबर के बारे में पता चल रहा है, उसके पैरों तले जमीन खिसक जा रही है और इससे वाकिफ होने के बाद जेहन में बेशुमार सवाल उठ रहे हैं। चलिए, हम आपको इसके बारे जरा विस्तार से बताते हैं कि आखिर माजरा क्या है।

जानें पूरा माजरा 

दरअसल, यह पूरा मामला उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ से सामने आया है, जहां मदरसों से भागकर अपने गांव आए छात्रों ने अपने साथ हुए हैवानियत भरे कृत्य को बयां किया है। उन्होंने बताया कि उनके साथ मदरसे में जानवरों जैसा सलूक किया जाता था। उनके पैरों में जंजीर बांधकर उनकी बेतों से पिटाई की जाती थी। मानों कि वो कोई इंसान नहीं, बल्कि जानवर हों। कई बार यह छात्र मौलाना से रहम की भीख मांगा करते थे, लेकिन इन पर बिल्कुल भी रहम नहीं की जाती थी। ये बच्चे पिछले ढाई साल से मदरसे में पढ़ रहे हैं। इस दौरान कई बार इन्होंने यहां से भागने की कोशिश की थी, लेकिन उन्हें कभी कामयाबी नहीं मिल पाई। लेकिन इस बीच जैसे ही मौका मिला तो चौंका मारते हुए वे वहां से फरार हो गए। वहीं, इस पूरी घटना का वीडियो भी प्रकाश में आया है, जिसमें देखा जा सकता है कि कैसे बर्बरतापूर्ण तरीके से दो छात्रों की पिटाई की जा रही है। वहीं, इसके बाद जैसे ही ये दोनों बच्चे गांव पहुंचे तो मामला पुलिस के पास पहुंचा। उधर, SHO गोसाईंगंज शैलेन्द्र गिरी ने छात्रों के परिजनों से संपर्क किया, लेकिन आपको ये जानकर हैरत होगी कि परिजनों ने शिक्षकों के खिलाफ कोई भी कार्रवाई करने से मना कर दिया। परिजनों ने तो यहां तक कह दिया कि उनके बच्चों की ही कोई गलती रही होगी, इसलिए ऐसी कार्रवाई की गई है।

यहां तक उन्होंने शिक्षकों से अपने ही बच्चों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने की मांग की है, ताकि भविष्य में किसी भी प्रकार की त्रुटियों की पुनरावत्ति न करें। छात्रों के परिजनों ने कहा कि उनके बच्चे इससे पहले भी दो मर्तबा मदरसे से भाग चुके हैं, उनका पढ़ाई में भी मन नहीं लगता है, जिसे ध्यान में रखते हुए अब शिक्षकों ने उनकी पिटाई की है। आप बस इतना समझ लीजिए कि उन्होंने अपने ही सिक्के को खोटा बताया है। लिहाजा पुलिस को भी छुछे हाथ ही लौटना पड़ गया है। वहीं,  पुलिस ने जब मदरसे में पढ़ाने वाले मौलाना के खिलाफ मामला दर्ज करना चाहा , तो  परिजनों से मना कर दिया। उन्होंने कहा कि वे ऐसी कोई भी शिकायत दर्ज नहीं कराना चाहते हैं। अब ऐसी स्थिति में आगामी दिनों में यह पूरा मसला क्या कुछ रुख अख्तियार करता है। इस पर सभी की निगाहें टिकी रहेंगी। तब तक के लिए आप देश दुनिया की तमाम बड़ी खबरों से रूबरू होने के लिए पढ़ते रहिए। न्युज रूम पोस्ट .कॉम

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