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Delhi Liquor Policy Case: अरविंद केजरीवाल को बड़ा झटका, शराब घोटाला न होने का किया था दावा, लेकिन कोर्ट ने बढ़ा दी मनीष सिसोदिया की हिरासत

नई दिल्ली। दिल्ली शराब घोटाला मामले में आरोपी आप नेता व पूर्व डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया की मुश्किलें थमने का नाम नहीं ले रही हैं। कोर्ट की तरफ से लगातार उन्हें झटके पर झटके लग रहे हैं। बता दें कि अब एक बार फिर से राउज एवेन्यू कोर्ट ने सिसोदिया को 14 दिनों की न्यायिक हिरासत में भेज दिया है। इससे पहले भी कई मर्तबा उनकी हिरासत बढ़ाई जा चुकी है। गत दिनों कोर्ट ने उनकी जमानत याचिका भी खारिज कर दी थी। कोर्ट ने दो टूक कह दिया था कि अगर उन्हें जमानत दी जाती है, तो वो सबूतों के साथ छेड़छाड़ कर सकते हैं, जिससे कि मामला प्रभावित हो सकता है। सनद रहे कि गत 26 फरवरी को सीबीआई ने आठ घंटे की मैराथन पूछताछ के बाद सिसोदिया को गिरफ्तार किया था। इसके बाद ईडी ने भी उन पर शिकंजा कसा। दरअसल, ईडी ने शराब घोटाला मामले में उनके खिलाफ धन शोधन का मामला दर्ज कर लिया था। अब इस मामले की जांच दो एजेंसियां कर रही हैं।

केजरीवाल को भी तगड़ा झटका  

ध्यान दें कि मनीष सिसोदिया की लगातार बढ़ाई जा रही हिरासत की मियाद की वजह से सीएम केजरीवाल के वे दावे भी खोखले साबित हो रहे हैं, जिसमें वो लगातार कर रहे हैं कि मनीष सिसोदिया निर्दोष हैं। दिल्ली में किसी भी प्रकार का शराब घोटाला नहीं हुआ है। यह सबकुछ केंद्र की मोदी सरकार की साजिश का हिस्सा है। केंद्र सरकार दिल्ली सरकार के  कल्याणकारी काम में  बाधा पहुंचाने के लिए शराब घोटाले का सहारा लेकर दिल्ली सरकार को परेशान कर रही है, ताकि हम जनहित की दिशा में काम ना कर सकें।

 

बता दें कि सीएम केजरीवाल अपने राजनीतिक सहयोगी मनीष सिसोदिया के पक्ष में लगातार यह दलीलें दे रहे हैं, लेकिन लगातार पिछले कुछ दिनों से सिसोदिया जिस तरह से अदालत से राहत नहीं मिल पा रही है, उसे देखते हुए सीएम केजरीवाल के ये दावे तो खोखले ही साबित हो रहे हैं। बता दें कि पिछले तीन माह से भी अधिक समय से सिसोदिया हिरासत मे हैं। उनसे सीबीआई पूछताछ भी कर चुकी है, लेकिन अभी तक कोर्ट की ओर से उन्हें कोई राहत नहीं मिली है। अब ऐसे में आगामी दिनों में सिसोदिया को कब तक राहत मिल पाती है? इस पर सभी की निगाहें टिकी रहेंगी।

 

मुख्यमंत्री से भी हो चुकी है पूछताछ 

सनद रहे कि गत दिनों सीबीआई ने केजरीवाल से भी पूछताछ की थी, जिसके बाद उनकी गिरफ्तारी की आशंका जताई गई थी, लेकिन उनके लिए राहत की बात यह रही कि यह आशंका वास्तविकता में तब्दील ना हो सकीं। उधर, आप नेता लगातार  सिसोदिया के बचाव में दलीलें दे रहे हैं, लेकिन अफसोस यह दलीलें किसी भी प्रकार से सिसोदिया के लिए उपयोगी साबित नहीं हो पा रही है।

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