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बिहार : भूख से तड़प रहीं बहनों ने किया पीएमओ को फोन, उसके बाद हुआ कुछ ऐसा

अंचल पदाधिकारी ने शुक्रवार को आईएएनएस को बताया कि उन तीनों लड़कियों को कपड़े भी उपलब्ध कराए गए हैं तथा प्रशासन उन पर नजर रखे हुए है। सीओ का कहना है कि अगर आसपास के लोग भी पुलिस को मामले की जानकारी दे देते तो बच्चियों को इतनी परेशानी नहीं उठानी पड़ती।

नई दिल्ली। कोरोनावायरस को रोकने के लिए पूरे देश में लॉकडाउन है, जिससे लोग जहां-तहां फंसे हुए हैं। आम तौर पर लोग घरों में भी किसी को अंदर नहीं आने दे रहे हैं। ऐसे में भागलपुर जिले के खंजरपुर गांव की तीन लड़कियां भूखे अपने घर में रहने को विवश हो गईं। जब इन्हें कहीं मदद नहीं मिली तब इन्होंने एक हेल्पलाईन में फोन कर दिया, और उसके बाद ही इन्हें खाना नसीब हुआ।

यह पूरा मामला भागलपुर जिले के जगदीशपुर प्रखंड के बड़ी खंजरपुर गांव का है, जहां तीन अनाथ लड़कियां आसपास के घरों में काम कर अपना पेट पालती हैं। लॉकडाउन के कारण इनका काम छिन गया और तीनों घर में भूखे रहने लगीं। इन्हें खाना देने से जब पड़ोसियों ने भी इंकार कर दिया तब इन्होंने एक समाचार पत्र में छपे एक फोन नंबर पर फोन कर दिया। यह फोन पीएमओ में जा लगा।


तीनों बहनों की कहानी सुनकर पीएमओ के अधिकारी ने पटना के आपदा प्रबंधन विभाग को फोन कर पूरे मामले की जानकारी दी। इसके बाद आपदा प्रबंधन विभाग ने जगदीशपुर के अंचल पदाधिकारी (सीओ) को इस मामले में कार्रवाई करने का निर्देश दिया। इसके बाद सीओ उन लड़कियों के घर पहुंचे और उन्हें भोजन उपलब्ध करवाया। अंचल पदाधिकारी सोनू कुमार भगत ने बताया कि तीनों लड़कियों को खाना और एक सप्ताह का सूखा राशन पहुंचा दिया गया है।


अंचल पदाधिकारी ने शुक्रवार को आईएएनएस को बताया कि उन तीनों लड़कियों को कपड़े भी उपलब्ध कराए गए हैं तथा प्रशासन उन पर नजर रखे हुए है। सीओ का कहना है कि अगर आसपास के लोग भी पुलिस को मामले की जानकारी दे देते तो बच्चियों को इतनी परेशानी नहीं उठानी पड़ती।

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