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Ayodhya Temple: रामलला के मंदिर का इतना हो चुका है काम, अब है सितंबर का इंतजार

Ram Mandir nirman

अयोध्या। रामनगरी में रामलला का मंदिर बनाने का काम दिन और रात चल रहा है। अभी नींव भरी जा रही है। नींव में कुल 43 लेयर डाली जानी है। इसमें से 34 लेयर डाली जा चुकी है। सितंबर के पहले हफ्ते तक नींव में बाकी 10 लेयर भी डाल दी जाएंगी। इसके बाद वहां मंदिर का चबूतरा तैयार होना शुरू होगा। इस चबूतरे में राजस्थान और चित्रकूट के बलुआ पत्थर लगाए जाएंगे। चबूतरे के ऊपर मंदिर आकार लेना शुरू करेगा और 2023 के दिसंबर तक मंदिर का पहला तल बनकर तैयार हो जाएगा। जहां श्रद्धालु रामलला के दर्शन कर सकेंगे। फिलहाल राम मंदिर बनवा रहे ट्रस्ट के मुताबिक नींव को तैयार करने के बाद इसें राफ्ट डाला जाएगा। राफ्ट लगाने में करीब एक महीने का समय लगेगा। राफ्ट डाले जाने के बाद इसके ऊपर प्लेटफॉर्म यानी चबूतरा बनाने की शुरुआत होगी।

सितंबर में ही मंदिर के पहले तल के चबूतरे और अन्य हिस्सों के लिए पत्थरों को तराशने का काम शुरू हो जाएगा। राजस्थान के बंशी पहाड़पुर से कई ट्रक पत्थर अयोध्या पहुंच चुके हैं और इन्हें कार्यशाला में रखा गया है। इसके अलावा पहले से ही 40000 घनफुट से ज्यादा पत्थर तराशे जा चुके हैं। राममंदिर के सभी तल बनाने में 12 लाख घनफुट पत्थर लगेंगे। ट्रस्ट के मुताबिक राजस्थान सरकार ने बंशी पहाड़पुर से और पत्थर लाने की मंजूरी दे दी है। वहीं, चित्रकूट से भी पत्थरों को लाने का काम जल्दी शुरू होने जा रहा है।

अयोध्या के स्थानीय प्रशासन के मुताबिक शहर को बेहतर बनाने के लिए योजना का खाका तैयार कर यूपी सरकार को भेज दिया गया है। इस खाके को मंजूरी मिलते ही शहर को बदलने का काम शुरू होगा। अभी शहर में कम चौड़ी सड़कें हैं। यहां गलियां ज्यादा हैं। शहर को पीएम नरेंद्र मोदी के निर्देश के मुताबिक 2047 के मास्टर प्लान के तहत बनाया जाना है। इसके अलावा एक न्यू अयोध्या सिटी भी यहां बनाई जानी है। कुल मिलाकर अयोध्या को दुनिया के मानचित्र में सबसे बेहतरीन शहर बनाकर पेश करने का केंद्र की मोदी सरकार का इरादा है।

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