नई दिल्ली। दीर्घावधि तक हाशिए पर रहे महाराष्ट्र नवनिर्माण पार्टी के प्रमुख राज ठाकरे पिछले कुछ दिनों से लाउडस्पीकर के मुद्दे को लेकर सुर्खियों के सैलाब में सराबोर नजर आ रहे हैं। उन्होंने बीते दिनों जिस तरह से विशेष समुदाय को पहले आगामी 3 मई तक सभी मस्जिदों से लाउडस्पीकर हटाने के निर्देश दिया और नहीं हटाए जाने पर विरोधस्वरूप हनुमान चालीसा बजाने की बात कही है, उसे लेकर महाराष्ट्र की सियासत में भूचाल मच चुका है। लाउडस्पीकर के मसले को लेकर मनसे और बीजेपी तो एक सेतु पर सवार नजर आ रहे हैं, लेकिन शिवसेना की राय मुख्तलिफ नजर आ रही है। हालांकि, महाराष्ट्र में कांग्रेस और रांकपा का सहारा लेकर सरकार बनाने के बाद से शिवसेना हिंदुत्व सहित अन्य मसलों पर अब नरम रुख अख्तियार करती हुई नजर आ रही है।
कोई दो मत नहीं यह कहने में अगर शिवसेना ने महाराष्ट्र में सरकार बनाने के लिए कोई समझौता नहीं किया होता है, तो आज इस मसले पार्टी की राय भी जुदा होते हैं, लेकिन स्थिति ने अलग ही करवट ले ली है। लिहाजा लाउडस्पीकर के मसले पर भी शिवसेना की राय जुदा ही नजर आ रही है। खैर, इस पूरे विवाद को जन्म देने वाले मनसे प्रमुख राज ठाकरे आज औरंगाबाद पहुंचने वाले हैं। खैर, उन मसलों पर हम किसी और दिन किसी और रिपोर्ट में बात करेंगे। फिलहाल तो हम आपको मनसे के संदीप देशपांडे ने मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे पर निशाना साधने के क्रम में क्या कुछ कहा है, इसके बारे में बताते हैं। उन्होंने उद्धव ठाकरे पर निशाना साधते हुए कहा कि वे कहते हैं कि जब अयोध्या में बाबरी मस्जिद ढहाई जा रही थी, तब राज ठाकरे कहां थे। तो मैं उनको बता दूं कि जब उद्धव साहब फोटो लेने में मशगूल थे, तब राज ठाकरे बाला साहेब ठाकरे के साथ मिलकर पूरे महाराष्ट्र का दौरा कर रहे थे।
इसके अलावा उन्होंने उद्धव ठाकरे को आड़े हाथों लेते हुए कहा कि आज वे राज ठाकरे की अनुकंपा से ही शिवसेना के अध्यक्ष बनें हुए हैं, उन्हें यह नहीं भूलना चाहिए। बहरहाल, आज की रैली में उन्होंने तो मस्जिदों पर लगे लाउडस्पीकर पर अपने विचार सार्वजनिक किए, लेकिन अब कल यानी की आगामी रविवार को वो किन मसलों पर अपनी राय जाहिर करते हैं। इस पर सभी की निगाहें टिकी रहेंगी। ध्यान रहे कि पिछले कुछ दिनों से सियासी मोर्चे पर निष्क्रिय रहने वाले राज ठाकरे अब एक बार फिर मुख्तलिफ सियासी मसलों पर अपनी राय जाहिर करते हुए नजर आ रहे हैं।