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Golden Throw: ओलंपिक पदकवीर नीरज चोपड़ा ने फिर दिखाया जेवलिन थ्रो में कमाल, कुओर्तेन गेम्स में झटका सोना

neeraj chopra Kuortane Games

हेलसिंकी। टोक्यो ओलंपिक की एथलेटिक्स स्पर्धा में भारत के लिए पहला गोल्ड मेडल हासिल करने वाले जेवलिन थ्रोअर नीरज चोपड़ा ने एक बार फिर कमाल कर दिखाया है। फिनलैंड में हो रहे कुओर्तेन गेम्स में नीरज ने रविवार को 86.69 मीटर तक जेवलिन थ्रो कर गोल्ड मेडल हासिल किया। इस प्रतियोगिता में नीरज ने ट्रिनिडाड और टोबैगो के केशोर्न वॉलकॉट और ग्रेनाडा के वर्ल्ड चैंपियन एंडरसन पीटर्स को पछाड़ा। नीरज ने इससे पहले पिछले हफ्ते ही नया नेशनल रिकॉर्ड भी बनाया था। कुओर्तेन गेम्स में नीरज ने दो फाउल थ्रो किए और अन्य तीन थ्रो न करने का भी फैसला किया। उनसे ठीक पीछे वॉलकॉट 86.64 मीटर थ्रो करके रहे। जबकि, पीटर्स ने तीसरे थ्रो में 84.75 मीटर तक जेवलिन फेंका।

बारिश की वजह से ट्रैक गीला था और नीरज ने यहां जानबूझकर दूसरे थ्रो को फाउल कर दिया। तीसरी बार जेवलिन फेंकने जा रहे नीरज गिर भी गए। इसके बाद उन्होंने बाकी थ्रो न करने का फैसला किया। यानी पहले ही कामयाब थ्रो की वजह से वो गोल्ड मेडल हासिल कर सके। पिछले हफ्ते फिनलैड के तुर्कू में हुए पावो नुरमी गेम्स में नीरज 90 मीटर तक जेवलिन थ्रो करने में महज 70 सेंटीमीटर से चूक गए थे। उस प्रतियोगिता में उनको सिल्वर मेडल मिला था। पिछले साल टोक्यो ओलंपिक के बाद नीरज पहली बार किसी प्रतियोगिता में हिस्सा ले रहे थे। पावो नुरमी गेम्स में फिनलैड के ही ओलिवर हेलेंडर ने 89.83 मीटर तक जेवलिन थ्रो करके गोल्ड हासिल किया था।

पावो नुरमी गेम्स से पहले नीरज का नेशनल रिकॉर्ड 88.07 मीटर था। नीरज ने ये रिकॉर्ड 2021 मार्च में पटियाला में बनाया था। इसके बाद 7 अगस्त 2021 को नीरज ने 87.58 मीटर तक जेवलिन थ्रो कर पहली बार एथलेटिक्स स्पर्धा में गोल्ड मेडल हासिल करने वाला पहला भारतीय होने का गौरव भी पाया था। शूटर अभिनव बिंद्रा के बाद वो ओलंपिक में निजी तौर पर गोल्ड हासिल करने वाले दूसरे भारतीय खिलाड़ी भी हो गए थे। नीरज अब 30 जून को डायमंड लीग के स्टॉकहोम लेग में हिस्सा लेंगे। इसके लिए वो फिनलैंड में ही ट्रेनिंग हासिल कर रहे हैं। उम्मीद है कि उस लेग में भी वो सभी खिलाड़ियों को पछाड़कर देश का नाम एक बार फिर रोशन करेंगे।

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