नई दिल्ली। बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी में भारतीय कप्तान विराट कोहली का प्रदर्शन अब तक औसत ही रहा है। पर्थ टेस्ट में शानदार शतक लगाने के बाद कोहली अगली तीन पारियों में नाकाम रहे। खास बात यह है कि इन तीनों पारियों में वह एक ही तरीके से आउट हुए। ऑफ स्टंप के बाहर की गेंदों पर जबरदस्ती शॉट खेलने की कोशिश में वह अपना विकेट गंवा बैठे। विराट कोहली ने अब इस गलती को स्वीकार करते हुए कहा है कि उन्होंने बल्लेबाजी के दौरान अनुशासनहीनता दिखाई।
मेलबर्न टेस्ट के पहले दिन का खेल खत्म होने के बाद स्टार स्पोर्ट्स से बातचीत में कोहली ने कहा, “पिछली दो-तीन पारियां वैसी नहीं रहीं जैसी मैं चाहता था। मैंने क्रीज पर टिकने के लिए अनुशासन नहीं दिखाया। यही टेस्ट क्रिकेट का असली चैलेंज है। इस बार ऑस्ट्रेलिया की पिचें ज्यादा तेज और बाउंसी हैं, जिससे अलग तरह के रवैये की जरूरत है। लेकिन अलग-अलग परिस्थितियों में अच्छा प्रदर्शन करना ही असली खेल है।”
मेलबर्न में वापसी का लक्ष्य
विराट कोहली ने अपनी रणनीति पर भी बात की। उन्होंने कहा, “अब मेरी रणनीति है कि क्रीज पर ज्यादा से ज्यादा समय बिताया जाए, अपनी नजरें सेट की जाएं और परिस्थितियों का सम्मान किया जाए। इसके बाद अपने नैसर्गिक खेल को आगे बढ़ाया जाएगा।”
मेलबर्न क्रिकेट ग्राउंड पर कोहली का रिकॉर्ड शानदार रहा है। यहां उन्होंने एक शतक और दो अर्धशतक लगाए हैं। साल 2011 के दौरे पर हालांकि वह 11 और 0 रन बनाकर नाकाम रहे थे, लेकिन 2014 में बॉक्सिंग डे टेस्ट में उन्होंने 169 और 54 रनों की शानदार पारियां खेली थीं। इसके बाद 2018 में उन्होंने पहली पारी में 82 रन बनाए, हालांकि दूसरी पारी में वह शून्य पर आउट हो गए। मेलबर्न और सिडनी में होने वाले अगले दो टेस्ट मैच भारतीय टीम के लिए बेहद अहम हैं। विराट कोहली के पास एक बार फिर अपनी फॉर्म में लौटने का मौका है और उनकी वापसी टीम इंडिया की जीत में निर्णायक साबित हो सकती है।