नई दिल्ली। आपने अमेरिकी मोबाइल ऑपरेटिंग सिस्टम एंड्राइड तो यूज़ किया ही होगा। आजकल दुनिया भर में ज्यादातर स्मार्टफोंस के अंदर एंड्रॉयड ऑपरेटिंग सिस्टम का इस्तेमाल किया जा रहा है। लेकिन अब आईटी सेक्टर में भारत भी तरक्की कर रहा है। केंद्रीय संचार, इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री अश्विनी वैष्णव और केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने मंगलवार (24 जनवरी) को स्वदेशी मोबाइल ऑपरेटिंग सिस्टम (ओएस) भरोस (BharOS) का परीक्षण किया। इस मोबाइल ओएस को भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान मद्रास ( के इनक्यूबेटेड फर्म द्वारा विकसित किया गया है। इस सॉफ्टवेयर को कमर्शियल ऑफ-द-शेल्फ हैंडसेट पर इंस्टॉल करना काफी आसान है।
आपको बता दें कि केंद्रीय आईटी मंत्री अश्विनी वैष्णव ने स्वदेशी मोबाइल ऑपरेटिंग सिस्टम ‘भरोस’ पर कहा कि इस सफर में मुश्किलें आएंगी और दुनिया भर में ऐसे कई लोग हैं जो मुश्किलें लेकर आएंगे और नहीं चाहेंगे कि ऐसा कोई सिस्टम सफल हो। हमें बहुत सावधानी और लगातार प्रयत्न से इसे सफल बनाने की ओर काम करना है। केंद्रीय मंत्री ने भरोस को ‘भरोसा’ बताया है। अगर बात करें इस ऑपरेटिंग सिस्टम की तो BharOS, जिसे भरोस भी कहा जाता है, एक स्वदेशी मोबाइल ऑपरेटिंग सिस्टम है। इस मोबाइल ऑपरेटिंग सिस्टम को भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान मद्रास (के इनक्यूबेटेड फर्म द्वारा विकसित किया गया है। इस ओएस को लेकर भारत के 100 करोड़ मोबाइल फोन यूजर्स को लाभ पहुंचाने का दावा किया जा रहा है। इस ओएस की खास बात यह है कि यह हाईटेक सिक्योरिटी और प्राइवेसी के साथ आता है। यानी इस मोबाइल ऑपरेटिंग सिस्टम में यूजर्स को उनकी जरूरतों के अनुरूप एप चुनने और उपयोग करने के लिए अधिक स्वतंत्रता, नियंत्रण और लचीलापन मिलता है। BharOS को कमर्शियल ऑफ-द-शेल्फ डिवाइस पर इंस्टॉल कर पाएंगे।