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Tharman Shanmugaratnam: सिंगापुर पर भी अब भारतवंशी का राज, 70 फीसदी वोट हासिल कर थर्मन शनमुगरत्नम बने नए राष्ट्रपति

tharman shanmugaratnam

सिंगापुर। ब्रिटेन समेत कई देशों के बाद अब सिंगापुर पर भी एक भारतवंशी अब राज करेगा। भारतीय मूल के थर्मन शनमुगरत्नम को सिंगापुर का नया राष्ट्रपति चुन लिया गया है। सिंगापुर के चुनाव विभाग ने थर्मन शनमुगरत्नम को शुक्रवार को राष्ट्रपति पद का जीता प्रत्याशी घोषित किया। थर्मन शनमुगरत्नम को 70.4 फीसदी वोट मिले। शनमुगरत्नम 66 साल के हैं। उनके अलावा सिंगापुर के राष्ट्रपति पद के चुनाव में एनजी कोक सॉन्ग और टैन किन लियान भी थे। सॉन्ग सरकारी कंपनी के पूर्व निवेश प्रमुख हैं। जबकि, लियान सरकारी बीमा कंपनी के पूर्व प्रमुख हैं। थर्मन शनमुगरत्नम सिंगापुर के 9वें राष्ट्रपति हैं।

सिंगापुर में शुक्रवार को ही राष्ट्रपति पद के लिए वोटिंग हुई थी। जिसमें बड़ी तादाद में वहां के लोगों ने हिस्सा लिया था। सिंगापुर के राष्ट्रपति चुनाव में 27 लाख से ज्यादा वोटर थे। रात करीब 8 बजे तक सिंगापुर में राष्ट्रपति पद की वोटिंग हुई थी। जिसके बाद वोटों की गिनती शुरू हुई और देर रात थर्मन शनमुगरत्नम को विजेता घोषित कर दिया गया। थर्मन शनमुगरत्नम पहले सिंगापुर के डिप्टी पीएम रह चुके हैं। उनके पास वित्त और शिक्षा मंत्रालय थे। थर्मन शनमुगरत्नम साल 2001 से राजनीति में हैं।

अपने राजनीतिक करियर में थर्मन शनमुगरत्नम ने सिंगापुर में सत्तारूढ़ पीपुल्स एक्शन पार्टी के साथ अहम पदों पर काम किया है। सिंगापुर में साल 2011 के बाद अब राष्ट्रपति चुनाव कराए गए हैं। साल 2011 में हलीमा याकूब को कोई और उम्मीदवार न होने के कारण राष्ट्रपति चुन लिया गया था। हलीमा याकूब का कार्यकाल 13 सितंबर को खत्म होगा। सिंगापुर में 2017 तक मलय समुदाय को ही राष्ट्रपति पद का चुनाव लड़ने की मंजूरी थी। नियमों में बदलाव करने से अब थर्मन शनमुगरत्नम राष्ट्रपति बने हैं। सिंगापुर में 1993 से राष्ट्रपति का चुनाव हो रहा है। शनमुगरत्नम अपने कामकाज और शानदार व्यक्तित्व की वजह से सिंगापुर के लोगों के अजीज हैं। उनको मिले वोट ही बता रहे हैं कि लोग कितना पसंद करते हैं।

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