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Maharashtra: उद्धव ठाकरे सरकार के गले में फंसा लाउडस्पीकर मुद्दा, हल निकालने के लिए अब उठाया ये कदम

uddhav thakrey

मुंबई। मस्जिदों में लाउडस्पीकर पर अजान और उसके सामने विरोध में लाउडस्पीकर पर ही हनुमान चालीसा का पाठ। ये मुद्दा महाराष्ट्र की उद्धव ठाकरे सरकार के गले में फंस गया है। उद्धव ठाकरे सरकार ने इसके बाद फरमान जारी कर दिया कि मस्जिदों से 100 मीटर की दूरी में लाउडस्पीकर पर हनुमान चालीसा का पाठ नहीं हो सकता। इससे विवाद और बढ़ गया। फिर विधायक रवि राणा और उनकी पत्नी नवनीत राणा की इसी मसले पर गिरफ्तारी ने विवाद को और तूल दे दिया। उद्धव ठाकरे की सरकार निशाने पर आ गई। इसके बाद अब सीएम उद्धव ने मसले को सुलझाने के लिए बीच का रास्ता निकालने की तैयारी की है। इसके तहत आज सर्वदलीय बैठक बुलाई गई है।

इस बैठक में बीजेपी समेत सभी दल शामिल होंगे, लेकिन महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना MNS के चीफ राज ठाकरे नहीं आएंगे। बीजेपी की तरफ से पूर्व सीएम देवेंद्र फडनवीस और एमएनएस की तरफ से नांदगांवकर और संदीप देशपांडे के आने की खबर है। इसके अलावा महाविकास अघाड़ी MVA सरकार के घटक दलों के नेताओं समेत छोटे दलों के प्रतिनिधि भी बैठक में शामिल होंगे। खास बात ये है कि लाउडस्पीकर का मसला राज ठाकरे का ही शुरू किया हुआ है। उन्होंने गुड़ी पड़वा के पर्व पर अपने समर्थकों को संबोधित करते हुए कहा था कि महाराष्ट्र में सभी मस्जिदों से लाउडस्पीकर हटने चाहिए।

राज ठाकरे ने बाकायदा इसके लिए 3 मई की तारीख मुकर्रर की थी। उन्होंने कहा था कि अगर उद्धव सरकार ने इस समयसीमा तक मस्जिदों से लाउडस्पीकर नहीं हटाए, तो उनकी पार्टी के लोग भी मस्जिदों के सामने लाउडस्पीकर लगाकर हनुमान चालीसा पढ़ेंगे। राज ठाकरे ने इस बयान के कुछ दिन बाद एक और बयान देते हुए देश के सभी हिंदुओं से एकजुट होने के लिए कहा था। उन्होंने फिर कहा था कि अगर सरकार ने मस्जिदों से लाउडस्पीकर नहीं हटाए, तो वो खुद ऐसा करेंगे। इस बीच, नवनीत राणा और रवि राणा ने उद्धव के घर मातोश्री के सामने हनुमान चालीसा पढ़ने का एलान किया। जिसके बाद दोनों को मुंबई की खार थाने की पुलिस ने गिरफ्तार कर जेल भेजा है।

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