नई दिल्ली। दिल्ली में कथित आबकारी यानी शराब घोटाला मामले में प्रवर्तन निदेशालय ED ने आम आदमी पार्टी AAP के नेता विजय नायर और हैदराबाद के कारोबारी अभिषेक बोइनपल्ली को आज गिरफ्तार कर लिया। इससे पहले सीबीआई ने दोनों को 27 सितंबर को गिरफ्तार किया था। विजय नायर इस मामले में गिरफ्तार होने वाले पहले आरोपी थे। शराब घोटाले में दिल्ली के डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया आरोपियों की लिस्ट में पहले नंबर पर हैं। खास बात ये है कि विजय नायर और बोइनपल्ली की जमानत अर्जी पर आज ही राउज एवेन्यू कोर्ट का फैसला आना है। अब ईडी की ओर से गिरफ्तारी के कारण विजय नायर और बोइनपल्ली की मुश्किल बढ़ सकती है।
विजय नायर ईवेंट मैनेजमेंट कंपनी ओनली मच लाउडर के सीईओ रहे हैं। शराब घोटाले की जांच कर रही सीबीआई ने नायर पर शराब बनाने वाली कंपनी के मालिक से रिश्वत लेने का आरोप लगाया है। शराब घोटाले में सीबीआई ने आरोपियों की जो लिस्ट तैयार की है, उसमें विजय नायर 5वें नंबर पर हैं। सीबीआई की इसी एफआईआर के आधार पर ईडी ने भी घोटाले की जांच शुरू की थी। ईडी ने 6 सितंबर को 30 जगह छापे भी मारे थे। जांच एजेंसी ने शराब बनाने वाली कंपनी इंडोस्पिरिट के एमडी समीर महेंद्रू, एक और कंपनी परनॉड रिकॉर्ड के एमडी बिनोय बाबू और अरबिंदो फार्मा के डायरेक्टर और मालिक शरत चंद्र रेड्डी को भी गिरफ्तार किया था।
आज दिल्ली के राउज एवेन्यू कोर्ट को विजय नायर और अभिषेक बोइनपल्ली की जमानत अर्जी पर फैसला सुनाना है। सीबीआई के विशेष जज एमके नागपाल ने जांच एजेंसी और आरोपियों के वकीलों की दलीलें सुनकर अपना फैसला सुरक्षित रख लिया था। सीबीआई ने जमानत देने का विरोध किया था। उसका कहना था कि जमानत मिलने पर आरोपी सबूतों से छेड़छाड़ कर सकते हैं। आम आदमी पार्टी का कहना है कि विजय नायर का दिल्ली की शराब नीति से लेना-देना नहीं है। पार्टी ने उनको गुजरात चुनाव के लिए रणनीतिकार बनाया था। जिसकी वजह से गिरफ्तारी की गई।