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Manipur Violence: मणिपुर में हिंसा को रोकने की कोशिश में जुटा केंद्र, आज कुकी नेताओं से गृहमंत्री अमित शाह करेंगे मुलाकात

amit shah

नई दिल्ली। बीती 3 मई से मणिपुर में जारी हिंसा को थामने के लिए केंद्र सरकार लगातार कोशिश कर रही है। इसी कोशिश के तहत आज कुकी समुदाय के नेताओं की गृहमंत्री अमित शाह से मुलाकात की तैयारी है। अमित शाह इससे पहले भी मणिपुर के मैतेई, कुकी समुदाय के नेताओं से कई बार मिल चुके हैं। मणिपुर के समाज में अहम भूमिका अदा करने वाली महिलाओं के दल से भी अमित शाह ने इंफाल और दिल्ली में मुलाकात की थी। मणिपुर में मैतेई और कुकी समुदाय के बीच हिंसा की वजह से अब तक 160 के करीब लोग जान गंवा चुके हैं और 1000 से ज्यादा घायल हैं।

अमित शाह अपने मणिपुर दौरे के वक्त मोरेह में कुकी प्रतिनिधिमंडल से पहले भी मिले थे।

मणिपुर में पहले से ही बड़ी तादाद में केंद्रीय बल और सेना के जवान तैनात किए गए थे। सोमवार को केंद्र ने और 10 कंपनी केंद्रीय बल मणिपुर भेजे। केंद्रीय बलों ने मणिपुर में कुकी और मैतेई इलाकों के बीच में बफर जोन तैयार किया है। इसके बाद भी दोनों समुदाय के उपद्रवी और आतंकवादी हिंसा की घटनाएं कर रहे हैं। मणिपुर में हिंसा के दौरान तमाम थानों से उपद्रवियों ने हथियार भी लूटे। इन हथियारों की बरामदगी को भी प्रशासन ने प्राथमिकता दी है। अब तक 1000 से ज्यादा लूटे गए सरकारी हथियारों की बरामदगी और वापसी हुई है।

मणिपुर में हिंसा की शुरुआत वहां के हाईकोर्ट के एक आदेश के बाद हुई थी। मणिपुर हाईकोर्ट ने मैतेई समुदाय को आरक्षण देने के लिए केंद्र सरकार को लिखने के निर्देश राज्य सरकार को दिए थे। इसका कुकी समुदाय ने विरोध किया और देखते ही देखते हिंसा शुरू हो गई। मणिपुर में मैतेई की संख्या सबसे ज्यादा है। इनमें से ज्यादातर हिंदू हैं। वहीं, कुकी और नगा समुदाय 40 फीसदी है। मैतेई समुदाय के लोग मणिपुर में घाटी के इलाकों में रहते हैं। जबकि, कुकी और नगा समुदाय पहाड़ों में बसते हैं।

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