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UP: अब गोरखनाथ मन्दिर में चढ़ावे के फूलों से बनेगी अगरबत्ती

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गोरखपुर। उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (Yogi Adityanath) एक के बाद एक कई मुहिम लेकर आ रहे है। ऐसी एक मुहिम का उन्होंने हाल ही में ऐलान किया था जिसके मुताबिक अब गोरखनाथ मन्दिर (Gorakhnath temple) में चढ़ावे के फूलों से अगरबत्ती बनेगी। सीएम प्रकृति और पर्यावण से काफी प्रेम करते है जिसका एक बार फिर सबूत देखने को मिल गया है।

पहल एक, संदेश कई

सीएम योगी ने अब चढ़ावे के फूलों का उपयोग करवाकर एक साथ पर्यावरण संरक्षण, स्वच्छ भारत और मिशन शक्ति और मिशन रोजगार का एक साथ सन्देश दे दिया है। बता दें कि गोरखनाथ मन्दिर का शुमार उत्तर भारत के प्रसिद्ध मंदिरों में होता है। वहां हर रोज लगभग चार से पांच हजार श्रद्धालु आते हैं। शनिवार और मंगलवार को यह संख्या बढ़ जाती है। मकर संक्रांति से लगने वाले एक महीने के मेले के दौरान तो यह संख्या लाखों में होती है। इस दौरान हर श्रद्धालु मन्दिर में गुरुगोरक्षनाथ सहित अन्य देवी देवताओं को फूल अर्पित करता है।

मंदिर में गुरु श्रीगोरक्षनाथ के अलावा हिंदू धर्म से जुड़े सभी देवी-देवताओं के मंदिर हैं। इनका माला रोज बदला जाता है। कुछ बड़ी मालाएं गुरु श्रीगोरक्षनाथ के लिये आती हैं। बाकी अन्य देवी देवताओं के लिए। कुल मिलाकर मन्दिर प्रशासन की रोज की अपनी खपत करीब 100 से 150 बड़ी मालाओं की है। बाकी आने वाले श्रद्धालु अपनी श्रद्धा के अनुसार फूल या माला लेकर आते हैं। अब चढ़ावे के बाद बेकार हो जाने वाले ये फूल अगरबत्ती के रूप में लोगों के घर-आंगन और उपासना स्थल पर अपनी सुंगध बिखेरेंगे।

मंदिर की गोशाला में गोबर से बनता है वर्मी कम्पोस्ट

मन्दिर की गोशाला में देशी नस्ल के करीब 500 गोवंश हैं। इनके गोबर का उपयोग करने के लिए लगभग पांच साल से वर्मी कंपोस्ट की इकाई लगी है। इसी दौरान मन्दिर परिसर में जहां जलजमाव होता था वहां सीएम योगी ने टैंक बनवाए और जलसंरक्षण का संदेश भी दिया।

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