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कोरोना के कहर के बीच देश पर मंडराया ‘बर्ड फ्लू’ का खतरा, राजस्थान में सोमवार को 170 से अधिक पक्षियों की मौत

नई दिल्ली। देश इस समय कोरोना (Coronavirus) का कहर झेल रहा है। इस बीच एक नया खतरा देश पर मंडरा रहा है। दरअसल, कुछ समय से पक्षियों की मौत के मामले सामने आ रहे हैं। राजस्थान, केरल और मध्य प्रदेश के बाद अब हिमाचल प्रदेश में भी ‘बर्ड फ्लू’ (Bird flu) के मामले सामने आए हैं। हिमाचल के पोंग बांध झील इलाके में मृत पाए गए प्रवासी पक्षियों में बर्ड फ्लू की पुष्टि की है। जो देश को लिए बड़ा खतरा है। क्योंकि देश अभी कोरोना से जंग लड़ रहा है ऐसे में अब

राजस्थान में 425 से पक्षियों की मौत

दरअसल, राजस्थान में कई पक्षियों की मौत हुई। सिर्फ सोमवार का ही राज्य के कई जिलों में 170 से अधिक पक्षियों की मौत हो गई है। राज्य के पशुपालन विभाग के मुताबिक, वहां 425 से अधिक कौवों, बगुलों और बाकि पक्षियों की मौत हुई है। झालावाड़ में मरने वाले पक्षियों की जांच की गई जिसमें बर्ड फ्लू की पुष्टि हुई है। हालांकि अभी तक बाकी जिलों के पक्षियों की जांच की रिपोर्ट अभी तक सामने नहीं आई है।

हिमाचल में अंडे, मांस, चिकन आदि पर प्रतिबंध

वहीं, हिमाचल प्रदेश में भी बर्ड फ्लू के मामले सामने आए हैं। राज्य की पोंग बांध झील इलाके में कुछ प्रवासी पक्षी मृत पाए गए हैं। इन मृत पक्षियों के नमूनों की जांच की गई, जिसमें में बर्ड फ्लू की पुष्टि हुई है। इसको देखते हुए कांगड़ा के प्रशासन ने कड़े फैसला लेते हुए मुर्गी, बत्तख, हर प्रजाति की मछली और उससे संबंधित उत्पादों पर प्रतिबंध लगा दिया है। जिनमें अंडे, मांस, चिकन आदि शामिल हैं।

बर्ड फ्लू को रोकने के लिए घरेलू पक्षी मारने का आदेश

इसके अलावा, केरल में भी बर्ड फ्लू के मामले सामने आए हैं। कोट्टायम और अलप्पुझा जिलों के कुछ हिस्सों में ये बीमारी सामने आई है। जिसके चलते वहां भी प्रशासन ने कड़े कदम उठाए हैं। जिसके मुताबिक प्रभावित क्षेत्रों में और उसके आसपास के एक किलोमीटर के दायरे में घरेलू पक्षियों को मारने का आदेश दिया है। जिनमें बत्तख, मुर्गियों और अन्य घरेलू पक्षी शामिल हैं। इस फैसले के मुताबिक, H5n8 वायरस के प्रसार को रोकने के लिए करीब 40,000 पक्षियों को मारना पड़ेगा।

बर्ड फ्लू को देखते हुए केरल में हाई अलर्ट

केरल में बर्ड फ्लू के मामले सामने आने के बाद कई जिलों में हाई अलर्ट जारी कर दिया गया है। दरअसल, पिछले साल जनवरी के अंत तक एक लाख से ज्यादा प्रवासी पक्षी यहां आए थे और अब तक यहां 50,000 से ज्यादा पक्षी पहुंच चुके हैं। राज्य में वन्य जीव, पशुपालन विभाग के कर्मचारियों को अलर्ट रहने को कहा गया है।

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