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Jagdeep Dhankhar: तो इस वजह से भाजपा ने जगदीप धनखड़ को बनाया उपराष्ट्रपति पद का उम्मीदवार, अब विपक्ष क्या करेगा?

jagdeep dhankhar

नई दिल्ली। पश्चिम बंगाल के मौजूदा गवर्नर जगदीप धनखड़ को उप राष्ट्रपति पद के लिए एनडीए का उम्मीदवार घोषित कर बीजेपी ने एक बार फिर चौंकाया है। इससे पहले चर्चा थी कि मोदी सरकार से हाल ही में हटे मुस्लिम नेता मुख्तार अब्बास नकवी को उप राष्ट्रपति पद का उम्मीदवार बनाया जा सकता है। फिर बीजेपी ने जगदीप धनखड़ जैसे बुजुर्ग नेता को इस पर का उम्मीदवार क्यों बनाया? इस सवाल के दो जवाब हैं। पहला राजस्थान और दूसरा जाट किसान। दरअसल, जगदीप धनखड़ जाट समुदाय से आते हैं। वो किसानों की सियासत करते रहे हैं। कृषि कानून से जाट किसान काफी नाराज थे। बीजेपी अब धनखड़ को अहम संवैधानिक पद देकर इन किसानों की नाराजगी दूर करना चाहती है। चुने जाने पर वो देश के पहले जाट उप राष्ट्रपति होंगे। सवाल ऐसे में अब है कि राष्ट्रपति चुनाव में मात खाने की ओर बढ़ता विपक्ष अब क्या करेगा?

जगदीप धनखड़ की बात करें, तो वो हरियाणा में किसान नेता के तौर पर पहचान बनाने वाले चौधरी देवीलाल के करीबी रहे। उस वक्त धनखड़ वकालत करते थे। देवीलाल ने उनमें प्रतिभा को पहचाना और 1989 में राजस्थान के झुंझनू से लोकसभा का चुनाव लड़ाया। यहां के जाटों की वजह से धनखड़ सांसद बने थे। अब उसी राजस्थान में अगले साल विधानसभा चुनाव होने वाले हैं। राजस्थान में कांग्रेस की सरकार है। बीजेपी हरियाणा के जाटों को धनखड़ के जरिए साधे रखना तो चाहती ही है, जाटों की मदद से राजस्थान में भी कांग्रेस की सरकार दोबारा बनने से हर हाल में रोकने की कोशिश कर रही है। राजस्थान में पिछली बार बीजेपी की सरकार थी, लेकिन लोगों की सीएम वसुंधरा राजे से नाराजगी ने पासा कांग्रेस के पक्ष में पलट दिया था।

राजनीतिक विश्लेषकों के मुताबिक इसी वजह से जगदीप धनखड़ बीजेपी की तरफ से उम्मीदवार बनाए गए हैं। पार्टी अध्यक्ष जेपी नड्डा ने उनके नाम का एलान करते वक्त ‘किसान के बेटे’ भी कहा था। इसी से पता चलता है कि बीजेपी किस सियासत के तहत चल रही है। खास बात ये भी है कि अपनी उम्र के बावजूद जगदीप धनखड़ ने पश्चिम बंगाल की सीएम ममता बनर्जी से सीधा टकराव भी लिया और चुनाव बाद हिंसाग्रस्त क्षेत्रों के दौरे पर भी गए। इसका भी काफी अच्छा असर बीजेपी नेतृत्व पर पड़ा।

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