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Assam Aadhar Card Law: असम में अब बिना इस दस्तावेज के नहीं बनेगा आधार कार्ड, अवैध घुसपैठ रोकने के लिए सीएम हिमंत बिस्व सरमा का फैसला; जानिए किनके लिए है छूट

himanta biswa sarma

गुवाहाटी। असम के सीएम हिमंत बिस्व सरमा ने राज्य में अवैध घुसपैठियों पर लगाम कसने के लिए अहम कदम उठाया है। अब असम में किसी को भी आधार कार्ड लेने के लिए अपने एनआरसी आवेदन का नंबर देना होगा। बिना एनआरसी आवेदन के नंबर के असम में आधार कार्ड नहीं मिलेगा। इस नियम से चाय बागान के लोगों को छूट दी गई है। साथ ही जिन 9.55 लाख लोगों के बायोमेट्रिक एनआरसी के दौरान लॉक किए गए थे, उनको भी एनआरसी आवेदन का नंबर नहीं देना होगा। असम के सीएम हिमंत बिस्व सरमा ने मीडिया को बताया कि आधार कार्ड एप्लीकेशन के लिए नए नियम की अधिसूचना 10 दिन में जारी होगी।

हिमंत बिस्व सरमा ने कहा कि असम में आबादी से ज्यादा आधार कार्ड के लिए आवेदन आए हैं। उन्होंने कहा कि इसी से शक होता है कि असम में संदिग्ध नागरिक हैं। असम के सीएम हिमंत बिस्व सरमा ने धुबरी जिले का उदाहरण दिया। उन्होंने कहा कि धुबरी जिले में जनसंख्या से ज्यादा आधार कार्ड जारी हुए हैं। संभव है कि वहां संदिग्ध लोगों ने आधार कार्ड बनवाया हो। हिमंत बिस्व सरमा ने कहा कि आधार कार्ड के लिए जो नया नियम बनाया गया है, उससे अवैध घुसपैठियों पर प्रभावी रोक लगेगी। हिमंत बिस्व सरमा ने कहा कि असम में बीते 2 महीने में कई बांग्लादेशी नागरिकों को पकड़ा जा चुका है।

असम देश का अकेला राज्य है, जहां एनआरसी हुई है। एनआरसी के तहत असम के लोगों को अपने परिवार और कब से राज्य में रह रहे हैं, उसकी जानकारी देनी पड़ी थी। सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद असम में एनआरसी की प्रक्रिया कराई गई थी। उस दौरान लाखों लोग एनआरसी के लिए जरूरी दस्तावेज जमा नहीं कर सके थे। ऐसे लोगों को रखने के लिए असम में डिटेंशन सेंटर भी बनाए गए। असम में बांग्लादेश से अवैध घुसपैठ का मामला हमेशा गर्म रहा है। वहां के स्थानीय लोग बांग्लादेश से होने वाली घुसपैठ पर प्रभावी रोक लगाने की मांग करते रहे हैं। घुसपैठियों की पहचान का काम हिमंत बिस्व सरमा की सरकार ने शुरू किया है। जिसके और तेज होने की भी संभावना है।

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