News Room Post

H1B Visa: क्या हैं एच1बी वीजा?, पीएम ने किया एलान जिसको सुनते ही रोनाल्ड रीगन बिल्डिंग में गूंजने लगी तालियों की गड़गड़ाहट

नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी तीन दिवसीय दौरे के लिए अमेरिका पहुंचे हैं। जहां नरेन्द्र मोदी का भव्य तरह से स्वागत किया गया। उनके स्वागत में व्हाइट हाउस में राष्ट्रपति जो बाइडन और प्रथम महिला जिल बाइडन मौजूद थे। पीएम मोदी के इस दौरे पर पूरी दुनिया की निगाहें पूरी दुनिया की निगाहें टिकी हुई हैं। खासकर भारत के पड़ोसी मुल्क पाकिस्तान और चीन की विशेष नजरें बनीं हुई हैं। वहीं अब प्रधानमंत्री ने वाशिंगटन में रोनाल्ड रीगन बिल्डिंग में भारतीय समुदाय के सदस्यों को संबोधित किया और इसके साथ ही एक अहम घोषणा भी की। ये घोषणा एच1बी वीजा से जुड़ा हुआ था तो चलिए जानते हैं कि आखिर पीएम मोदी ने क्या घोषणा की है।

पीएम मोदी ने किया एक अहम एलान

दरअसल, पीएम मोदी ने वाशिंगटन में रोनाल्ड रीगन बिल्डिंग में भारतीय समुदाय के सदस्यों को संबोधित करते हुए कहा कि अब उन्हें एच1बी वीजा को रिन्यू करने के लिए अमेरिका से बाहर नहीं जाना पड़ेगा। इसके साथ ही अमेरिका के दो अन्य शहरों में भी भारतीय वाणिज्य दूतावास बनाए जाएंगे। पीएम मोदी के इस ऐलान के बाद से रोनाल्ड रीगन बिल्डिंग में बैठे सभी लोगों ने तालियां बजानी शुरू की और पूरा रोनाल्ड रीगन बिल्डिंग तालियों की आवाज से गूंजने लगा। पीएम ने आगे यह भी कहा कि अमेरिका, बेंगलुरु और अहमदाबाद में नए वाणिज्य दूतावास बनाए जाएंगे। पीएम के इस घोषणा से अमेरिका और भारत के वासियों को काफी खुशी हुई क्योंकि ये दोनों ही देश के लिए काफी अहम घोषणा थी।

वहीं आपको बता दें कि नई दिल्ली में अमेरिका दूतावास दुनिया के सबसे बड़े अमेरिकी राजनयिक मिशनों में से एक है। इसकी वेबसाइट की मानें तो, दूतावास चार वाणिज्य दूतावासों मुंबई, चेन्नई ,कोलकाता और हैदराबाद में की गतिविधियों का संचालन करता है।

क्या हैं एच1बी वीजा

अब आप सोच रहे होंगे कि ये एच1बी वीजा क्या है तो एच1बी वीजा अधिकत्तर उन लोगों के पास होता है या कह सकते हैं कि दिया जाता है जो कि अमेरिका में काम करते हैं। इसे आम भाषा में कहे तो यह वीजा ऐसे व्यक्ति या कुशल कर्मचारियों को दिया जाता है जो कि अमेरिका की कंपनी में काम करते है जिनकी अमेरिका में कमी है। इसके बाद इन्हें ग्रीन कार्ड दिया जाता है और इसकी वीजा की अवधि 6 साल की होती है। इसके साथ ही जब इनकी वैलिडिटी खत्म हो जाती है। अमेरिकी कंपनी की डिमांड के कारण भारतीय आईटी प्रोफेशनल्‍स इस वीजा को सबसे ज्यादा प्राप्त करते हैं।

Exit mobile version