नई दिल्ली। बीएसपी सुप्रीमो मायावती ने रविवार को पार्टी के नेताओं की बैठक के बाद अपने भतीजे आकाश आनंद को नेशनल को-ऑर्डिनेटर पद से हटाने का एलान किया था। मायावती ने कहा था कि उनके जीविंत रहने तक कोई भी उत्तराधिकारी नहीं होगा। पहले भी आकाश आनंद को मायावती बीएसपी के नेशनल को-ऑर्डिनेटर पद से हटा चुकी थीं। बाद में उनको वापस पद सौंपा गया था। अब मायावती के ताजा फैसले पर उनके भतीजे आकाश आनंद की प्रतिक्रिया आई है। आकाश आनंद ने एक्स पर पोस्ट किया। उन्होंने इसमें बड़ी चुनौती, कठिन परीक्षा और लंबी लड़ाई की बात भी लिखी है। आकाश आनंद ने एक्स पर लिखा है कि आदरणीय बहन जी का हर फैसला उनके लिए पत्थर की लकीर है और उसे मानते हुए साथ खड़े हैं।
आकाश आनंद ने अपने पोस्ट में लिखा है कि बीएसपी सुप्रीमो मायावती की तरफ से उनको बीएसपी के सभी पदों से मुक्त करने का फैसला निजी तौर पर भावनात्मक है। आकाश आनंद ने इसके बाद ही लिखा है कि साथ ही अब बड़ी चुनौती है, कठिन परीक्षा और लंबी लड़ाई है। उन्होंने लिखा है कि ऐसे कठिन हालात में धैर्य और संकल्प ही सच्चे साथी होते हैं। आकाश आनंद ने अपनी प्रतिक्रिया में साफ किया है कि बीएसपी के मिशन के लिए सच्चे कार्यकर्ता की तरह निष्ठा से काम करेंगे। आखिरी सांस तक बहुजन समाज के हक की लड़ाई लड़ने का भी मायावती के भतीजे आकाश आनंद ने एलान किया है। आकाश आनंद ने ये भी लिखा है कि विरोधी दल के लोग सोच रहे हैं कि मेरा राजनीतिक करियर खत्म हो गया, लेकिन उनको समझना चाहिए कि ये करियर नहीं दलितों, शोषितों, वंचित और गरीबों के स्वाभिमान की लड़ाई है। इस मशाल को जलाए रखने के लिए लाखों आकाश आनंद के तैयार रहने की बात भी उन्होंने लिखी है।
मैं परमपूज्य आदरणीय बहन कु. मायावती जी का कैडर हूं, और उनके नेतृत्व में मैने त्याग, निष्ठा और समर्पण के कभी ना भूलने वाले सबक सीखे हैं, ये सब मेरे लिए केवल एक विचार नहीं, बल्कि जीवन का उद्देश्य हैं। आदरणीय बहन जी का हर फैसला मेरे लिए पत्थर की लकीर के समान है, मैं उनके हर फैसले का…
— Akash Anand (@AnandAkash_BSP) March 3, 2025
बीएसपी सुप्रीमो मायावती ने एक बार फिर अपने भाई और आकाश आनंद के पिता आनंद कुमार पर भरोसा जताते हुए बड़ी जिम्मेदारी दी है। आकाश आनंद के पिता को मायावती ने भतीजे की जगह बीएसपी का नेशनल को-ऑर्डिनेटर बनाया है। पहले भी आनंद कुमार को मायावती बड़ी जिम्मेदारी दे चुकी हैं। बाद में उनको हटाकर आकाश आनंद को वो साथ लाई थीं और उनको अपना राजनीतिक वारिस भी घोषित किया था। कुछ दिन पहले ही मायावती ने आकाश आनंद के ससुर अशोक सिद्धार्थ को भी बीएसपी से निकाल दिया था। अशोक सिद्धार्थ को बीएसपी में काफी अहम माना जाता था। वो राज्यसभा में सांसद भी बनाए गए थे।