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UCC In Uttarakhand: उत्तराखंड में जल्द लागू होगी समान नागरिक संहिता, सीएम पुष्कर धामी ने बताया इसके लिए कितना काम हो चुका

यूसीसी लागू होने के बाद कुछ मामलों में सभी समुदायों के लिए एक जैसा कानून होगा। इसके तहत उत्तराधिकार, तलाक, शादी जैसे अहम मसले तय होंगे। किसी भी समुदाय के पर्सनल लॉ संबंधी उपरोक्त प्रावधान नहीं चलेंगे। इसी वजह से मुस्लिम नेता और धर्मगुरु लगातार यूसीसी का विरोध करते रहे हैं।

Pushkar Singh Dhami...

देहरादून। उत्तराखंड की बीजेपी सरकार जल्दी ही राज्य में समान नागरिक संहिता (यूसीसी) लागू करने वाली है। सीएम पुष्कर सिंह धामी ने सोमवार को बताया कि यूसीसी के लिए जो बिल लाया जाएगा, उसका ड्राफ्ट 90 फीसदी तैयार हो चुका है। उन्होंने बताया कि 30 जून तक ड्राफ्ट बन जाएगा। पुष्कर सिंह धामी ने सभी राज्यों से आग्रह किया है कि वे भी अपने यहां यूसीसी को लागू करने की दिशा में कदम उठाएं। बीजेपी ने पिछले साल उत्तराखंड में विधानसभा चुनाव के दौरान राज्य में यूसीसी लागू करने का वादा किया था। सरकार बनने के बाद धामी सरकार ने इस संबंध में कमेटी बनाई थी।

गोवा के बाद उत्तराखंड दूसरा राज्य होगा, जहां यूसीसी लागू होगा। गोवा में पुर्तगाली शासन के दौर से यूसीसी लागू है। यूसीसी लागू होने के बाद कुछ मामलों में सभी समुदायों के लिए एक जैसा कानून होगा। इसके तहत उत्तराधिकार, तलाक, शादी जैसे अहम मसले तय होंगे। किसी भी समुदाय के पर्सनल लॉ संबंधी उपरोक्त प्रावधान नहीं चलेंगे। इसी वजह से मुस्लिम नेता और धर्मगुरु लगातार यूसीसी का विरोध करते रहे हैं। जबकि, संविधान के नीति निर्देशक तत्व में लिखा है कि भारत में यूसीसी लागू किया जाना है। यूसीसी को केंद्रीय और राज्य स्तर पर भी लागू किया जा सकता है।

बीजेपी के नेता और असम के सीएम हिमंत बिस्व सरमा।

गुजरात की बीजेपी सरकार ने भी यूसीसी लागू करने के लिए कमेटी बना रखी है। इस कमेटी की रिपोर्ट के बाद वहां भी सरकार यूसीसी को लागू करने के लिए काम करेगी। इससे पहले असम के सीएम हिमंत बिस्व सरमा ने रविवार को तेलंगाना के करीमनगर जिले में एक कार्यक्रम में बताया था कि जल्दी ही पूरे देश में यूसीसी लागू की जाएगी। उन्होंने पहले ही असम में यूसीसी लागू करने के लिए कदम उठाने की बात कह रखी है। असम में हिमंत बिस्व सरमा ने बहुविवाह पर रोक लगाने के लिए कानून बनाने के वास्ते एक कमेटी भी बीते दिनों बनाई है।

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