News Room Post

कोरोना के बढ़ते मामलों को लेकर बाकी देशों की तुलना में भारत के लिए अच्छी खबर

Coronavirus

नई दिल्ली। कोरोना को लेकर पूरी दुनिया में कोहराम मचा हुआ है। चीन के बाद ईरान, इटली, स्पेन जैसे देशों में मरने वालों की संख्या में काफी इजाफा देखने को मिला है। यूं कहा जाए तो यूरोप इसकी चपेट में ज्यादा है। फिलहाल कोरोना से हालत ऐसी है कि अमेरिका जैसी शक्तिशाली अर्थव्यवस्था को धक्का लगा है। इन सबके बीच भारत के लिए एक अच्छी खबर है और वो ये है कि भारत में कोरोना के मरीजों की संख्या में बढ़ोत्तरी बाकी अन्य प्रभावित देशों के मुकाबले कम है।


आपको बता दें कि पश्चिमी देशों में कोरोना के मामले जहां 30 प्रतिशत की दर से बढ़ रहे हैं तो वहीं भारत में इसके नए मामले आने में जो वृद्धि है वो 18 प्रतिशत के हिसाब से देखी गई है। जिसे भारत जैसे विशाल देश की नजर से अच्छी खबर कही जा रही है। फिलहाल अगर भारत में 21 दिन के लॉकडाउन को सही तरीके सा फॉलो किया गया तो जल्द ही भारत इस महामारी की चपेट से बाहर निकलने में सफल होगा।

अगर आप एक बार कोरोना के WORLDOMETER को ध्यान से देखेंगे तो आपको पता चलेगा कि 27, 28 और 29 मार्च को दुनिया भर में कोरोना के नए मामले धीरे-धीरे कम होते जा रहे हैं। जो एक तरह से अच्छी खबर है। 27 मार्च को जहां कोरोना के 74288 नए मामले (15.9% वृद्धि) के साथ देखे गए तो वहीं 28 मार्च को यह आंकड़ा 78671 यानि (13.89% वृद्धि) के साथ दर्ज किया गया। जबकि 29 मार्च को 62876 (9.76% वृद्धि) के नए मामले सामने आए। ऐसे में यह स्पष्ट है कि पूरी दुनिया में कोरोना के प्रसार में धीरे-धीरे कमी आ रही है।

भारत में कोरोना की रफ्तार दूसरे देशों की तुलना में बेहद ही धीमी है। विश्व के जिन बड़े देशों में कोरोना ने पांव पसारे हैं, उनके मुकाबले भारत में इसकी रफ्तार कुछ भी नही है। विश्व भर के तुलनात्मक आंकड़ों में भारत की बेहद ही उत्साहवर्धक तस्वीर निकल कर सामने आई है। भारत में कोरोना के प्रसार की रफ्तार 29 मार्च तक सिर्फ 17.65 फीसदी रही है जबकि इसी दौरान विश्व के दूसरे देशों में यह बेहद ही तेज रफ्तार से आगे बढ़ा है। इन आंकडो़ं के मुताबिक 15 मार्च से 18 मार्च के बीच भारत में कोरोना की रफ्तार 14.93 फीसदी थी। 29 मार्च तक इसमें 3 फीसदी से भी कम की बढ़ोत्तरी हुई। 29 मार्च तक कोरोना के ग्रोथ की रेट केवल 17.65 फीसदी थी।

अहम बात ये है कि भारत ने कोरोना की रफ्तार पर लगाम भी लगाया है। 15 से 23 मार्च के बीच कोरोना वृद्धि की रफ्तार 20.59 हो गई थी। इसके बाद इसमें कमी आना शुरू हुई। 26 मार्च तक ये ग्रोथ रेट गिरकर 18.68 फीसदी हुई जो 29 मार्च को 17.65 पर पहुंच गई। आंकड़ों के मुताबिक विश्व के दूसरे मुल्कों की तुलना में ये रफ्तार न के बराबर है। भारत में 17 मार्च से 29 मार्च के बीच कोरोना प्रभावित कुल 1071 मामले सामने आए। 17 मार्च को भारत में कुल 147 कोरोना से प्रभावित लोग थे जिसमें 29 मार्च तक 8 फीसदी से भी कम की बढ़ोत्तरी हुई। अब विश्व के दूसरे देशों से इसकी तुलना करते हैं। इटली में 23 फरवरी को कोरोना से प्रभावित लोग 155 थे जो 6 मार्च तक आते आते करीब तीस फीसदी से अधिक बढ़कर 4636 हो गए।

इसी तरह यूएस में 5 मार्च को कोरोना के 159 पीड़ित थे जो 17 मार्च तक बढ़कर 6344 हो गए। ये बढ़ोत्तरी 40 फीसदी के करीब है। दक्षिण कोरिया में 20 फरवरी को कोरोना के 111 मरीज थे जो 3 मार्च तक बढ़कर 5186 हो गए। स्पेन में 3 मार्च को कोरोना के 165 मरीज थे जो 15 मार्च तक 7988 हो गए। जबकि कनाडा में 13 मार्च को कोरोना के 198 पीड़ित थे जो 25 मार्च तक 3409 हो गए। इस लिहाज से भारत में कोराना के मरीजों की वृद्धि दर बेहद ही कम है और ये देश के लिए बहुत बड़ी राहत की खबर है।

Exit mobile version