नई दिल्ली। पहलगाम की बैसरन घाटी में पर्यटकों के नरसंहार के बाद भारत ने दम दिखाते हुए पाकिस्तान में आतंक की 9 फैक्ट्रियों को मिट्टी में मिला दिया। इसके बाद पाकिस्तान ने जब बदला लेने की कोशिश की, तो उसे भी दो दिन में ही घुटनों पर आने के लिए भारत ने मजबूर कर दिया। आतंकियों के गढ़ को जमींदोज करने और फिर बाहें फड़का रहे पाकिस्तान को पस्त करने वाले ऑपरेशन सिंदूर में भारतीय सेना के तीनों अंगों की बड़ी भूमिका रही। इनमें से बहुत अहम भूमिका भारतीय वायुसेना ने निभाई। भारतीय वायुसेना ने अब एक्स पर पोस्ट कर ऑपरेशन सिंदूर में अपनी भूमिका के बारे में संकेतों में बड़ी बात कही है।
एक्स पर किए पोस्ट में भारतीय वायुसेना ने कहा है कि ऑपरेशन सिंदूर में उसने तय किए गए काम को सटीकता और व्यावसायिकता से सफलतापूर्वक अंजाम तक पहुंचाया है। भारतीय वायुसेना ने ये भी कहा है कि ऑपरेशन सिंदूर को राष्ट्रीय उद्देश्यों के हिसाब से सोच-समझकर और विवेकपूर्ण तरीके से चलाया गया। भारतीय वायुसेना ने ये भी कहा है कि ऑपरेशन सिंदूर अभी जारी है। इस वजह से आने वाले वक्त में उसकी भूमिका के बारे में विस्तार से जानकारी दी जाएगी। भारतीय वायुसेना ने सभी देशवासियों से ये अपील भी की है कि वे किसी तरह की अटकलों से बचें और बिना सत्यापित जानकारियों का प्रसार भी न करें।
The Indian Air Force (IAF) has successfully executed its assigned tasks in Operation Sindoor, with precision and professionalism. Operations were conducted in a deliberate and discreet manner, aligned with National Objectives.
Since the Operations are still ongoing, a detailed…
— Indian Air Force (@IAF_MCC) May 11, 2025
भारत ने ऑपरेशन सिंदूर के तहत 7 मई 2025 को पाकिस्तान में आतंकियों के ठिकानों पर जमकर बमबारी की थी। भारतीय वायुसेना के विमानों ने बहावलपुर में जैश-ए-मोहम्मद के मुख्यालय, मुरीदके में लश्कर-ए-तैयबा के मुख्यालय और मुजफ्फराबाद में हिज्बुल मुजाहिदीन के मुख्यालय को सटीक निशाना लगाकर जमींदोज कर दिया था। इसका बदला लेने के लिए पाकिस्तान की सेना ने 8 और 9 मई की रात ड्रोन से भारत के नागरिक और सैन्य ठिकानों को निशाना बनाने की कोशिश की। भारतीय सेना और वायुसेना ने पाकिस्तान की इस चाल को नाकाम कर दिया। इसके बाद भारतीय वायुसेना ने पाकिस्तान के 2 रडार साइट और 8 एयरबेस को सफलता से निशाना बनाया। नतीजे में पाकिस्तान ने अमेरिका और चीन से संघर्ष रुकवाने की गुहार लगाई और फिर शनिवार की शाम शांति हो गई।