लखनऊ। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि अयोध्या धाम के महत्व को ध्यान में रखकर केन्द्र व राज्य सरकार अयोध्या को उसके प्राचीन गौरव के अनुरूप प्रतिष्ठित करने के लिए कृतसंकल्पित है। इसके दृष्टिगत अयोध्या में व्यापक स्तर पर विकास कार्य कराए जा रहे हैं। उन्होंने अयोध्या धाम में विकास गतिविधियों को गति प्रदान करने के लिए तत्परता से कार्य किए जाने के निर्देश दिए हैं।
मुख्यमंत्री आज यहां लोक भवन में अयोध्या धाम के समेकित पर्यटन विकास के सम्बन्ध में कराए जाने वाले कार्यों के प्रस्तुतीकरण का अवलोकन कर रहे थे। इस अवसर पर उन्होंने कहा कि अयोध्या नगरी का विकास इस प्रकार से किया जाए जिससे यहां आने वालों को स्तरीय सुविधाएं प्राप्त हो सकें। यातायात की व्यवस्था सुगम हो, इसके लिए सड़कों का चैड़ीकरण कराया जाए। उन्होंने कहा कि अयोध्या नगरी के विकास के सभी कार्य योजना बनाकर चरणबद्ध तरीके से किए जाएं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि विभिन्न दिशाओं से अयोध्या पहुंचने वाले दर्शनार्थियों की सुविधा के लिए सड़कों का प्रभावी और निर्बाध नेटवर्क तैयार किया जाए। सड़कों के दोनों ओर सभी जनसुविधाओं जैसे-पेयजल, शौचालय इत्यादि की अच्छी व्यवस्था सुनिश्चित की जाए। साथ ही, अपने वाहनों से आने वाले दर्शनार्थियों की सुविधा के लिए विभिन्न स्थलों पर मल्टी लेवेल पार्किंग का निर्माण किया जाए, ताकि लोग सड़क पर वाहन न खड़ा करें। उन्होंने कहा कि बसों इत्यादि की पार्किंग के लिए बड़े बस स्टैण्ड बनाए जाएं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि अयोध्या धाम विश्व के मानचित्र में अत्यन्त महत्वूपर्ण स्थल है। यहां पर्यटन की असीम सम्भावनाएं हैं। इसके दृष्टिगत प्रत्येक स्तर पर रोजगार के अवसर भी है। उन्होंने कहा कि पर्यटकों को अयोध्या धाम का भ्रमण कराने के लिए प्रशिक्षित गाइड की व्यवस्था सुनिश्चित की जाए। उन्होंने कहा कि भरत कुण्ड, सूर्य कुण्ड तथा नन्दी ग्राम का तेजी से विकास कार्य कराया जाए।
मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को निर्देशित किया कि अयोध्या का विकास सोलर सिटी के रूप में किया जाए। अयोध्या में सौन्दर्यीकरण कार्यों को तेजी से पूरा करने के निर्देश देते हुए उन्होंने कहा कि इस सम्बन्ध में आवास, नगर विकास, धमार्थ कार्य तथा लोक निर्माण विभाग द्वारा अन्तर्विभागीय समन्वय स्थापित करते हुए कार्य किया जाए।