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कानपुर मुठभेड़ : कौन है कुख्यात अपराधी विकास दुबे, जानिए कैसे उसने हत्या करने से राजनीति तक का सफर किया तय

नई दिल्ली। उत्तर प्रदेश के कानपुर में देर रात शातिर बदमाशों को पकड़ने गई पुलिस टीम पर हुई ताबड़तोड़ फायरिंग में आठ पुलिसकर्मी शहीद हो गए। एडीजी जय नारायण सिंह ने बताया घटना कानपुर में चौबेपुर थाना क्षेत्र के बिकरू गांव की है। पुलिस शातिर बदमाश विकास दुबे को पकड़ने गई थी और उन पर बदमाशों ने हमला कर दिया इसमें 8 जवान शहीद हो गए है जबकि अन्य सात पुलिसकर्मी घायल हो गए हैं। पुलिस ने राज्य के सभी बॉर्डर सील कर दिए हैं। , जिसे पकड़ने गए 8 पुलिसकर्मियों ने गंवाई अपनी जान

कानपुर की घटना पर मुख्यमंत्री ने डीजपी से मांगी तत्काल रिपोर्ट

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कानपुर में बदमाश विकास दुबे के साथ मुठभेड़ में शहीद हुए पुलिसकर्मियों को अपनी श्रद्धांजलि दी है। साथ ही इस मामले में डीजीपी हितेश चंद्र अवस्थी से तत्काल मौके की रिपोर्ट तलब की है।

कौन है ये कुख्यात हिस्ट्रीशीटर विकास दुबे

कुख्यात हिस्ट्रीशीटर विकास दुबे वही अपराधी है, जिसने साल 2001 में राजनाथ सिंह सरकार में मंत्री का दर्जा पाए संतोष शुक्ला की थाने में घुसकर हत्या कर दी थी। विकास के खिलाफ 60 केस दर्ज हैं।

साल 2000 में विकास दुबे पर कानपुर के शिवली थानाक्षेत्र स्थित ताराचंद इंटर कॉलेज के सहायक प्रबंधक सिद्धेश्वर पांडेय की हत्या का आरोप लगा था। इसके अलावा साल 2000 में ही उस पर कानपुर के शिवली थानाक्षेत्र में रामबाबू यादव की हत्या मामले में जेल के भीतर रहकर साजिश रचने का आरोप लगा था

साल 2018 में विकास दुबे ने अपने चचेरे भाई अनुराग पर जानलेवा हमला किया था। उसने माती जेल में बैठकर पूरी साजिश रची थी। जिसके बाद अनुराग की पत्नी ने विकास समेत चार लोगों के खिलाफ नामजद केस दर्ज करवाया था। हिस्ट्रीशीटर विकास दुबे की यूपी के चारों राजनीतिक दलों में पकड़ है।

बताया जाता है कि उत्तरप्रदेश में सभी राजनीतिक दलों के ऊपर हिस्ट्रीशीटर विकास दुबे की पकड़ है। साल 2002 में मायावती के मुख्यमंत्री रहते हुए विकास दुबे ने कई जमीनों पर अवैध कब्जे किए। गैर कानूनी तरीके से काफी सारी संपत्ति बनाई. इस दौरान बिल्हौर, शिवराजपुर, रिनयां, चौबेपुर के साथ ही कानपुर नगर में विकास दुबे का दबदबा था। विकास दुबे जेल में रहते हुए शिवराजपुर से नगर पंचायत का चुनाव जीत चुका है।  बसपा सरकार के एक कद्दावर नेता से इसकी करीबी जगजाहिर थी। इस दौरान विकास ने अपना खुद का एक बड़ा गैंग खड़ा कर लिया था।

बता दें कि कानपुर में तड़के कुख्यात बदमाश विकास दुबे के गांव में दबिश देने गई पुलिस की टीम पर विकास ने अपने साथियों के साथ हमला बोला था, जिसमें सीओ बिठूर देवेंद्र कुमार मिश्र सहित आठ पुलिसकर्मी शहीद हो गए हैं।

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