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PFI Funding Raid: कट्टरपंथी इस्लामी संगठन PFI को फंडिंग के मामले में NIA और ED की बड़ी छापेमारी, 10 राज्यों में 100 से ज्यादा गिरफ्तार

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नई दिल्ली। कट्टरपंथी इस्लामी संगठन पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया PFI के खिलाफ केंद्रीय जांच एजेंसियों की कार्रवाई और तेज हो गई है। राष्ट्रीय जांच एजेंसी NIA और प्रवर्तन निदेशालय ED ने पीएफआई को फंडिंग के मामले में बुधवार देर रात से 10 राज्यों में 110 जगह छापे मारे हैं। सूत्रों के मुताबिक छापेमारी जारी है और अब तक 100 से ज्यादा आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है। जिन राज्यों में छापा मारा गया है, उनमें केरल, कर्नाटक, राजस्थान, तमिलनाडु, आंध्र प्रदेश, तेलंगाना, दिल्ली, यूपी, एमपी और महाराष्ट्र हैं। इन राज्यों में पीएफआई की सक्रियता काफी बढ़ी मिली थी। पीएफआई के खिलाफ पिछले दिनों भी एनआईए की छापेमारी हुई थी। ईडी ने भी पहले रेड मारकर एनआईए को मिल रही फंडिंग का पता लगाया था।

बता दें कि पीएफआई के दो गुर्गे बिहार में पकड़े गए थे। इनके पास से काफी दस्तावेज बरामद किए गए थे। इन दस्तावेजों से पता चला था कि पीएफआई साल 2047 तक यानी भारत की आजादी की 100वीं सालगिरह का वक्त आने तक देश में इस्लामी शासन लागू करने की दिशा में भी काम कर रहा था। पीएफआई के दस्तावेजों से पता चला था कि संगठन ने कोर्ट से लेकर सेना और पुलिसबल समेत संसद तक अपनी विचारधारा के लोगों को बिठाने के लिए तिकड़म भिड़ानी शुरू कर दी थी। पीएफआई के इन दस्तावेजों से ये भी पता चला था कि हिंदुओं में से पिछड़ों और दलितों का साथ लेकर भारत को इस्लामी राष्ट्र बनाने की इस कट्टरपंथी संगठन ने योजना बनाई थी।

इससे पहले पीएफआई का नाम सीएए के विरोध में दिल्ली में हुए दंगों में भी आया था। पीएफआई की तरफ से दंगाइयों और सीएए विरोधियों को हर तरह की मदद देने का खुलासा दिल्ली पुलिस और खुफिया एजेंसियों की जांच से हुआ था। पीएफआई की दक्षिण भारत में हुई एक रैली में सिर तन से जुदा के नारे लगाते बच्चे का वीडियो भी वायरल हुआ था। इसके अलावा दो दिन पहले इसका भी खुलासा हुआ था कि पीएफआई के स्थानीय नेता ने कर्नाटक के शिवमोगा में हिंदू कार्यकर्ता समेत तमाम नेताओं की हत्या के लिए हिटलिस्ट भी तैयार की थी।

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