News Room Post

किसान आंदोलन के बीच सिंघु बॉर्डर से आई बुरी खबर- दिल्ली पुलिस के DCP और ADCP हुए कोरोना संक्रमित

Singhu border Force delhi protest

नई दिल्ली। दिल्ली में कृषि कानूनों के खिलाफ किसान डेरा जमाए बैठे हैं। दिल्ली के सिंघु बॉर्डर पर किसान कृषि कानूनों के खिलाफ विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं। ऐसे में अब यहां से एक बुरी खबर सामने आई है।। बता दें कि सिंघु बॉर्डर पर पुलिस बल का नेतृत्व कर रहे एक DCP और ADCP कोरोना वायरस पॉजिटिव आए हैं। जाहिर सी बात है कि प्रदर्शन में किसानों की भारी संख्या के बीच कोरोना प्रोटोकॉल का पालन नहीं हो पा रहा है। ऐसे में कोरोना प्रसार का खतरा भी बढ़ गया है। अब खबर आई है कि, सिंघु बॉर्डर पर पुलिस बल की अगुवाई कर रहे दिल्ली पुलिस के एक DCP और ADCP कोरोना वायरस संक्रमित पाए गए हैं। प्रदर्शन के दौरान कोरोना संक्रमण की खबर चिंताजनक है। वो भी तब जब दिल्ली में कोरोना के मामले फिर से तेजी के साथ बढ़ रहे हों।

जो आईपीएस कोरोना संक्रमित हुए हैं उनमें से एक आउटर-नॉर्थ के डीसीपी गौरव और दूसरे एडिशनल डीसीपी घनश्याम बंसल हैं। इनके कोरोना संक्रमित होने की खबर लगने के बाद ये अधिकारी होम आइसोलेशन में चले गए हैं। वहीं सिंघु बॉर्डर की रेड लाइट पर धरने पर बैठे किसानों के खिलाफ पुलिस ने FIR भी दर्ज किया है। बता दें कि किसानों पर सोशल डिस्टेंसिंग का पालन ना करने और महामारी एक्ट और अन्य धाराओं के तहत मुकदमा दर्ज किया गया है।

वहीं किसानों के प्रदर्शन की बात करें तो शुक्रवार को किसान मज़दूर संघर्ष कमेटी ने कृषि कानूनों के खिलाफ विरोध प्रदर्शन करने के लिए कुंडली बॉर्डर के लिए अपना दूसरा जत्था रवाना करने से पहले अमृतसर के गोल्डन टेंपल में पूजा की।

बता दें कि कृषि कानूनों के खिलाफ टिकरी बॉर्डर पर किसानों का विरोध प्रदर्शन आज 16वें दिन भी जारी है। अपनी मांगों के साथ सिंघु बॉर्डर पर विरोध प्रदर्शन कर रहे किसान अभी भी डटे हुए हैं। वहीं सिंघु बॉर्डर पर लगातार चल रहे किसानों के विरोध प्रदर्शन को देखते हुए बॉर्डर पर बड़ी संख्या में सुरक्षा बल तैनात है।

बता दें कि गुरुवार को किसान नेता राकेश टिकैत ने मोदी सरकार को लेकर कहा कि, “हमें भारत सरकार से मतलब है पिछली सरकारें और पुरानी सरकारें क्या करके गई उससे नहीं। अगर उन्होंने काम नहीं किया था तो वो चले गए। ये ठीक काम करेंगे तो ये रहेंगे।” उन्होंने कहा कि, “14 तारीख को हर ज़िला मुख्यालय पर मीटिंग होगी। जो लोग यहां नहीं आ सकते वो वहां पर ज्ञापन देंगे।”

Exit mobile version