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Pitru Paksha 2022: कितने प्रकार के होते हैं पितृपक्ष? जानिए श्राद्ध से संबंधित अन्य महत्वपूर्ण जानकारियां

Pitru Paksha 2022: ऐसा माना जाता है कि ऐसा करने से पितृ प्रसन्न होकर बच्चों को आशीर्वाद प्रदान करने आते हैं। इसके अलावा, इससे जुड़ी कई महत्वपूर्ण जानकारियां हैं, जो जानने योग्य हैं। तो आइए जानते हैं कौन-सी वो महत्वपूर्ण जानकारियां…

नई दिल्ली। पितरों का ऋण चुकाने के लिए पितृ पक्ष का समय सबसे उत्तम माना गया है। इस दौरान पितरों का श्राद्ध, तर्पण और दान आदि पुण्य कार्य करने से पितरों को मोक्ष प्राप्त होता है। ऐसा माना जाता है कि ऐसा करने से पितृ प्रसन्न होकर बच्चों को आशीर्वाद प्रदान करने आते हैं। इसके अलावा, इससे जुड़ी कई महत्वपूर्ण जानकारियां हैं, जो जानने योग्य हैं। तो आइए जानते हैं कौन-सी वो महत्वपूर्ण जानकारियां…

कब से शुरू हो रहे श्राद्ध?

इस बार पितृ पक्ष की शुरूआत शुरुआत अश्विन माह की पूर्णिमा तिथि को हो रही है, जो शनिवार, 10 सितंबर को पड़ रही है। 15 दिनों तक चलने वाले श्राद्ध पक्ष का समापन अश्विन माह की अमावस्या तिथि यानी 25 सितंबर को होगा।

पितरों के प्रकार?

कहा जाता है कि चन्द्रमा के ऊपर पितर लोक स्थित है। इसे दो भागों में बांटा गया है, जिसमें से एक को दिव्य पितर और दूसरे को मनुष्य पितर कहा जाता है। दिव्य पितर मनुष्य और जीवों के कर्मों के आधार पर न्याय करते हैं। इनके न्यायाधीश यमराज को माना जाता है।

पितरों को भोजन कैसे प्राप्त होता है?

पुराणों के अनुसार, गंध और रस तत्व से पितरों की तृप्ति होती है। अपने पूर्वजों की शांति के लिए जब जातक जलते हुए उपले में गुड़, घी और अन्न अर्पित करते हैं तो इससे इससे निकलने वाली गंध के गंध के जरिए पितर भोजन ग्रहण करते हैं।

कैसे करते हैं तर्पण?

पितरों को जल देने की प्रक्रिया तर्पण कहलाती है। इसमें कुश को हाथ में लेकर मृत व्यक्ति का ध्यान करते हुए ‘ओम आगच्छन्तु में पितर एवं ग्रहन्तु जलान्जलिम’ का जप करते हुए अंगूठे की सहायता से धीरे-धीरे पृथ्वी को पर 5-7 या 11 बार अर्पित किया जाता है।

पितृपक्ष में इन चीजों का दान करना होता है शुभ?

पितृ पक्ष में काले तिल, नमक, गेंहू, चावल, गाय का दान, सोना, वस्त्र, चांदी आदि का दान उत्तम माना जाता है।

पितृ दोष के लक्ष्ण ? 

अगर आपको जीवन में गृहक्लेश, संतान से संबंधित परेशानियां, विवाह में बाधा, आकस्मिक दुर्घटना, नौकरी या व्यापार में बाधा, खराब सेहत आदि समस्याएं हैं तो निश्चित ही आप पितृ दोष से पीड़ित हैं।

पितृ दोष खत्म करने के नियम

1.पितृ दोष से मुक्ति प्राप्त करने के लिए श्राद्ध पक्ष के दौरान तर्पण करना चाहिए

2.ब्राह्मण को भोजन कराएं।

3.यथाशक्ति के अनुसार, जरूरतमंदों को दान करें।

4.अमावस्या के दिन पीपल के पेड़ की पूजा करें।

5.गरीबों की मदद करें।