नई दिल्ली। हिन्दू धर्म में एकादशी का काफी महत्व होता है। साल में वैसे तो 24 एकादशी के व्रत किए जाते हैं। इस तरह से हर एक महीने में दो एकादशी मनाई जाती है। नवंबर का महीना चल रहा है इस महीने की 20 तारीख को उत्पन्ना एकादशी मनाई जाएगी। कहा जाता है कि इस दिन एकादशी माता का जन्म हुआ था इसी वजह से इसे उत्पन्ना एकादशी कहते हैं। भारत में इस एकादशी को मार्गशीर्ष के महीने में वहीं, दक्षिण में इस एकादशी को कार्तिक के महीने में मनाते हैं। कहते हैं इस एकादशी के दिन कुछ खास उपाय करने से आपकी हर मनोकामना पूरी होती है। तो चलिए जानते हैं कौन से हैं वो उपाय जो आपको इस एकादशी पर जरूर करने चाहिए…
इस एकादशी के दिन आप शाम के समय तुलसी के पौधे के आगे घी का दीपक जलाकर “ओम नमो भगवते वासुदेवाय नमः” का जाप करें। फिर 11 बार तुलसी की परिक्रमा करें। इससे आपको भगवान विष्णु और माता लक्ष्मी की कृपा मिलती है।
अगर आप अपने व्यापार में तरक्की करना चाहते हैं तो आपको उत्पन्ना एकादशी के दिन भगवान विष्णु और माता लक्ष्मी की पूजा के साथ ही उन्हें पीले फूल भी चढ़ाने चाहिए। इससे आप उन्हें ऋतु फल चढ़ाएं, इससे आपके स्वास्थ्य से जुड़ी हर परेशानी दूर होगी।
जो लोग जीवन में सुख-समृद्धि चाहते हैं तो उन्हें इस दिन गरीब, भूखे लोगों को अन्न का दान करना चाहिए। आप चाहे तो दान-दक्षिणा भी कर सकते हैं। आपको उत्पन्ना एकादशी के दिन खीर में तुलसी डालकर विष्णु जी को चढ़ानी चाहिए। ये उपाय वैवाहिक जीवन में सुख-समृद्धि लाता है।
भगवान विष्णु जी के सामने 9 मुखी दीपक के साथ एक अखंड ज्योति जलाने का उपाय नौकरी में आ रहे सभी कष्टों को दूर करता है। पैसों से जुड़ी समस्याओं को दूर करने के लिए विष्णु जी का केसर घुले हुए दूध से अभिषेक करना चाहिए।
जिन लोगों के घर में लड़ाई-झगड़े, विवाद या नकारात्मक ऊर्जा रहती है उन्हें भगवान विष्णु की पूजा करने के दौरान दस मुखी रुद्राक्ष की भी पूजा करनी चाहिए।
उपवास करने वालों को मिलते हैं ये फायदे
कहा जाता है कि उत्पन्ना एकादशी जो भी व्यक्ति करता है उसके जीवन में जितने भी दुख होते हैं वो दूर हो जाते हैं। इस व्रत को लेकर कहा जाता है कि जो भी कोई एकादशी का व्रत रखना चाहता है उसे उत्पन्ना एकादशी से ही इसकी शुरुआत करनी चाहिए। इस एकादशी के दिन भगवान विष्णु ने मुरसुरा नाम के राक्षस का अंत किया था। ऐसे में इस दिन को उनकी जीत की खुशी के तौर मनाया जाता है।