
नई दिल्ली। विवाद में घिरने के बाद कंगना रानौत की चर्चित फिल्म ‘इमरजेंसी’ की रिलीज टलने के आसार हैं। कंगना रानौत की फिल्म इमरजेंसी को अब तक सेंसर बोर्ड का सर्टिफिकेट नहीं मिल सका है। 6 सितंबर 2024 को इमरजेंसी को रिलीज होना था। साल 1975 से 1977 तक देश में लागू किए गए आपातकाल पर ये फिल्म कंगना रानौत ने बनाई है। फिल्म इमरजेंसी में कंगना रानौत ने ही पूर्व पीएम इंदिरा गांधी का रोल किया है। कंगना रानौत ने पिछले दिनों खुद बताया था कि सेंसर बोर्ड फिल्म में कुछ कट चाहता है और इस वजह से अब तक फिल्म इमरजेंसी को सर्टिफिकेट नहीं दिया गया है।
कंगना रानौत की इमरजेंसी पर विवाद इसलिए शुरू हुआ, क्योंकि इसमें खालिस्तानी आतंकी सरगना रहे जरनैल सिंह भिंडरावाले को अलग सिख राज्य के लिए इंदिरा गांधी की कांग्रेस का समर्थन करते दिखाया गया। साथ ही इंदिरा गांधी की हत्या करने वाले सिख सुरक्षाकर्मी भी कंगना रानौत की फिल्म इमरजेंसी में दिखाए गए। इसके बाद शिरोमणि अकाली दल ने सेंसर बोर्ड को कानूनी नोटिस भेजकर फिल्म रोकने को कहा। इसके अलावा पंजाब के पूर्व सीएम और कांग्रेस के सांसद चरणजीत सिंह चन्नी ने भी रविवार को ये चेतावनी दी कि कंगना रानौत को पहले सिख गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी यानी एसजीपीसी को फिल्म दिखाकर मंजूरी लेनी होगी। चन्नी ने कहा है कि अगर कंगना रानौत ने ऐसा नहीं किया, तो फिल्म चलने नहीं दी जाएगी।
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वहीं, कंगना रानौत ने आरोप लगाया है कि फिल्म इमरजेंसी को मंजूरी मिल गई थी, लेकिन सर्टिफिकेट रोका गया। उनका आरोप है कि सेंसर बोर्ड के सदस्यों को जान से मारने की धमकियां दी जा रही हैं। कंगना का आरोप है कि फिल्म इमरजेंसी में इंदिरा गांधी की हत्या न दिखाई जाए। साथ ही पंजाब में दंगे और भिंडरावाले को भी न दिखाया जाए। कंगना का कहना है कि उनको नहीं पता कि तब फिल्म में दिखाने के लिए क्या बचेगा। कंगना ने ये भी कहा था कि उनको देश की ऐसी हालत पर बहुत खेद है। न्यूज चैनल इंडिया टीवी के आप की अदालत कार्यक्रम में भी कंगना रानौत ने कहा था कि इंदिरा गांधी की मौत बिजली गिरने से तो नहीं हुई थी।