
नई दिल्ली। लगभग 17 साल पुराने जयपुर सीरियल ब्लास्ट मामले में विशेष अदालत ने आज अपना फैसला सुनाते हुए 4 दोषियों को आजीवन कारावास की सजा का ऐलान किया है। 13 मई 2008 को जयपुर में अलग-अलग स्थानों पर 8 सीरियल बम धमाके हुए थे। जबकि एक बम समय रहते डिफ्यूज कर दिया था। कोर्ट ने 600 पन्नों में फैसला दिया है और सरवर आजमी, सरवर आजमी, मोहम्मद सैफ और सैफुर्रहमान को सजा सुनाई है। जयपुर के जौहरी बाजार, सांगानेरी गेट, माणक चौक खंदा, चांदपोल गेट, बड़ी चौपड़, छोटी चौपड़ और त्रिपोलिया गेट पर हुए बम धमाकों में 71 लोग मारे गए थे जबकि लगभग 180 लोग घायल हुए थे।
#WATCH | Rajasthan: A special court in Jaipur awards life imprisonment to all four accused – Shahbaz Hussain, Sarwar Azmi, Mohammad Saif, and Saifur Rahman in the 2008 Jaipur serial bomb blast.
(Visuals from Special Court in Jaipur) https://t.co/TuYDre8FBu pic.twitter.com/ufaE26l03E
— ANI (@ANI) April 8, 2025
आतंकियों ने चांदपोल बाजार में एक और बम में लगाया था लेकिन इस बम को ब्लास्ट से पहले ही बम निरोधक दस्ते ने डिफ्यूज कर दिया था। इस मामले में पहले इन आरोपियों को फांसी की सजा सुनाई जा चुकी है। दोषियों ने सजा को हाईकोर्ट में चुनौती दी थी जिसके बाद हाईकोर्ट ने मार्च 2023 में सभी को बरी कर दिया था। अब विशेष अदालत ने चार दोषियों को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। इन सीरियल धमाकों की जिम्मेदारी आतंकी संगठन इंडियन मुजाहिदीन ने ली थी। ब्लास्ट के लिए आतंकियों ने साइकिलों का इस्तेमाल किया था।
एटीएस के मुताबिक आतंकवादियों ने जयपुर में 9 साइकिलें खरीदीं और इन्हीं साइकिलों में बम लगाकर टाइमर सेट कर दिया तथा ब्लास्ट वाली जगहों पर साइकिलों को ले जाकर खड़ा कर दिया। 15 मिनट के अंदर 8 बम ब्लास्ट हो गए, मगर एक बम जो चांदपोल बाजार में एक गेस्ट हाउस के पास प्लांट किया गया था, इसके फटने की टाइमिंग डेढ़ घंटे बाद की थी। पुलिस और एटीएस ने मुस्तैदी दिखाते हुए इस बम का समय रहते पता लगाया और इसे डिफ्यूज कर दिया था। चांदपोल में मिले जिंदा बम के मामले में कोर्ट में अलग से सुनवाई हुई। 4 अप्रैल 2025 को जयपुर की विशेष अदालत ने चार आरोपियों को दोषी ठहराया और आज सजा सुना दी।