नई दिल्ली। नूंह हिंसा मामले में आरोपी बिट्टू बजरंगी को 14 दिनों की न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया है, जहां उससे मामले के संदर्भ में विस्तृत पूछताछ की जाएगी। बता दें कि बीते मंगलवार को उसे गिरफ्तार किया गया था, जिसके बाद उसे एक दिन की पुलिस रिमांड पर भेज दिया गया था, लेकिन अब उसे लंबी अवधि तक न्यायिक हिरासत में रहना होगा। अब ऐसे में वो पुलिस के सामने मामले को लेकर क्या कुछ खुलासे करता है। इस पर सभी की निगाहें टिकी रहेंगी, लेकिन उससे पहले आप यह जान लीजिए कि उस पर नूंह हिंसा को लेकर क्या कुछ आरोप लगे हैं ?
#UPDATE | Bittu Bajrangi has been sent to 14-day judicial custody https://t.co/YmYgFTuFdH
— ANI (@ANI) August 17, 2023
दरअसल, बिट्टू बजरंगी पर आरोप है कि उसने कानून -व्यवस्था को ठेंगा दिखाते हुए हिंसा के दौरान पुलिस के सामने तलवार लहराई थी। हालांकि, मौके पर मौजूद अधिकारियों ने उसे ऐसा करने से रोका था, लेकिन वो नहीं माना। इतना ही नहीं, पुलिस अधिकारियों के साथ उसने बदसलूकी भी की थी, जिसे ध्यान रखते हुए उसके खिलाफ आईपीसी की गंभीर धाराओं के तहत मुकदमा दर्ज किया गया है। इस बीच यह भी बताया जा रहा है कि वो बजरंग दल का सदस्य है, लेकिन आपको बता दें कि सभी हिंदूवादी संगठन उससे किनारा कर रहे हैं। यही नहीं, विश्व हिंदू परिषद ने ट्वीट कर कहा कि, ‘राज कुमार उर्फ बिट्टू बजरंगी, जिसे बजरंग दल कार्यकर्ता बताया जा रहा है, उसका बजरंग दल से कभी कोई संबंध नहीं रहा। उसके द्वारा कथित रूप से जारी किए गए वीडियो की सामग्री को भी विश्व हिन्दू परिषद उचित नहीं मानती।
वहीं, इससे पहले बजरंग दल ने भी बयान जारी कर बिट्टू बजरंगी से किनारा कर लिया था। बता दें कि पुलिस ने बजरंगी के खिलाफ आईपीसी की धारा 148,149, 332, 353, 186, 395, 397, 506 और आर्म्स एक्ट के तहत मुकदमा दर्ज किया गया था। वहीं, बीते दिनों एक वीडियो भी सामने आया था, जिसमें बिट्टू बजरंगी यह कहता हुआ देखा जा रहा था कि उनको पूरी लोकेशन दे दो कि मैं कहां-कहां जा रहा हूं, नहीं तो बाद में कहेंगे कि बताया नहीं और मुलाकात भी नहीं की। इसलिए हम पूरी लोकेशन दे रहे हैं। उधर, विश्व हिंदू परिषद का कहना है कि हमारी छवि को धूमिल करने के प्रयास के बाबत बिट्टू बजरंगी का नाम हमारे संगठन से जोड़ा जा रहा है, जिसमें कोई वास्वविकता नहीं है।
बता दें कि बीते दिनों हरियाणा के नूंह में शोभायात्रा निकाले जाने के बाद कथित तौर पर विशेष समुदाय की ओर से पथराव किया गया था, जिसके जवाब में यात्रा में शामिल लोगों ने भी पथराव किया। इसके बाद यह स्थिति हिंसात्मक हो गई, जिसमें कुछ लोगों की मौत हो गई, तो कुछ घायल हेो गए।