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Dussehra Rally: आज शाम को गरमाएगी महाराष्ट्र की सियासत!, उद्धव और शिंदे गुट की दशहरा रैली पर इस कारण सबकी नजरें

आज दशहरा है। आज देश बुराई पर अच्छाई की विजय का पर्व मना रहा है। आज शाम को जगह-जगह रावण, मेघनाद और कुंभकर्ण के पुतलों का दहन भी होगा। इन सभी कार्यक्रमों में आम लोग जोश के साथ हिस्सा लेंगे, लेकिन मुंबई में शाम को जो होना है, उस पर सियासत के जानकारों की नजर है।

मुंबई। आज दशहरा है। आज देश बुराई पर अच्छाई की विजय का पर्व मना रहा है। आज शाम को जगह-जगह रावण, मेघनाद और कुंभकर्ण के पुतलों का दहन भी होगा। इन सभी कार्यक्रमों में आम लोग जोश के साथ हिस्सा लेंगे, लेकिन मुंबई में शाम को जो होना है, उस पर सियासत के जानकारों की नजर है। आप सोच रहे होंगे कि मुंबई में भला ऐसा क्या होना है! तो आपको याद दिलाते हैं कि दशहरा के मौके पर मुंबई में आज शिवसेना के दोनों गुटों की रैली हर साल की तरह होगी। इस दशहरा रैली की शुरुआत शिवसेना के संस्थापक बाला साहेब ठाकरे ने की थी। अपनी दशहरा रैली में बाला साहेब ठाकरे शिवसेना के नेताओं और कार्यकर्ताओं के लिए एजेंडा तय करते थे। वो दशहरा रैली में बताते थे कि पार्टी के लोगों को अगले दशहरा तक क्या करना है और क्या नहीं करना है। शिवसेना का हर नेता और कार्यकर्ता उनके इस निर्देश का पालन करता था। आज इन दो दशहरा रैली से महाराष्ट्र की सियासत के गरमाने के भी आसार हैं।

uddhav thakerey

अब शिवसेना दोफाड़ है। शिवसेना का नाम और तीर-कमान का चुनाव चिन्ह सीएम एकनाथ शिंदे के गुट को मिल चुका है। वहीं, बाला साहेब के बेटे और पूर्व सीएम उद्धव ठाकरे अपने साथियों के साथ शिवसेना-यूबीटी नाम से पार्टी चला रहे हैं। उनका चुनाव चिन्ह मशाल है। आज शिवसेना के इन दोनों ही गुटों की दशहरा रैली में उनके समर्थक बड़ी तादाद में हिस्सा लेने की तैयारी कर रहे हैं। उद्धव ठाकरे गुट की दशहरा रैली परंपरागत तरीके से शिवाजी पार्क में होगी। बालासाहेब के जमाने से ही शिवाजी पार्क में शिवसेना की रैली होती आई है। वहीं, एकनाथ शिंदे गुट की दशहरा रैली आजाद मैदान में होगी। पिछली बार दोनों शिवाजी पार्क में रैली करने पर अड़ गए थे। तब बंबई हाईकोर्ट ने उद्धव गुट को शिवाजी पार्क में दशहरा रैली करने की मंजूरी दी थी।

eknath shinde

इस बार भी उद्धव और एकनाथ गुट ने शिवाजी पार्क में रैली की मंजूरी मांगी थी। बाद में एकनाथ शिंदे गुट ने अपना आवेदन बीएमसी से वापस ले लिया। पिछली बार दशहरा रैली पर उद्धव और एकनाथ शिंदे ने एक-दूसरे पर जमकर निशाना साधा था। माना जा रहा है कि आज भी शिवाजी पार्क और आजाद मैदान में दोनों नेता उसी रंगत में दिखाई देंगे। एकनाथ शिंदे सरकार चला रहे हैं। ऐसे में अपनी उपलब्धियां भी वो गिना सकते हैं। जबकि, उद्धव के पास बीजेपी और शिंदे गुट पर निशाना साधने का ही अकेला मुद्दा है। ये दशहरा रैली इसलिए भी खास है, क्योंकि अगले साल लोकसभा चुनाव के बाद महाराष्ट्र में विधानसभा चुनाव भी होने हैं।